बरेली: चक्कर लगाते रहिए...अल्ट्रासाउंड हो जाए तो किस्मत

बरेली, अमृत विचार। महिला जिला अस्पताल में अल्ट्रासाउंड जांच कराना मरीजों के लिए आसान नहीं है। उन्हें इसके लिए इंतजार करना पड़ रहा है। सोमवार को ओपीडी में बड़ी संख्या में मरीजों की लाइन लगी हुई थी। वहीं, अल्ट्रासाउंड कक्ष के बाहर भी सुबह से मरीज जांच होने का इंतजार कर रहे थे, लेकिन उनकी जांच नहीं हो सकी। क्योंकि यहां तैनात रेडियोलॉजिस्ट को गैर जनपद में कोर्ट ड्यूटी में जाना पड़ गया। इस वजह से एक भी मरीज का अल्ट्रासाउंड नहीं हो सका।
विभागीय सूत्रों के अनुसार अक्सर रेडियोलॉजिस्ट को कोर्ट से जुड़े मामलों में बाहर ड्यूटी पर जाना पड़ता है। ऐसे में दूसरे रेडियोलॉजिस्ट का होना जरूरी है, मगर यहां एक ही रेडियोलॉजिस्ट है। खास बात यह है कि जिम्मेदारों को भी इससे कोई सरोकार नहीं है।
गंभीर मरीजों के जान पर बन आएगी
अगर अस्पताल में भर्ती किसी मरीज की हालत अचानक बिगड़ती है तो तुरंत अल्ट्रासाउंड जांच की जरूरत पड़ती है। ऐसे में मरीज की जांच कैसे हो ये बड़ा सवाल है। प्रबंधन की इस लापरवाही मरीज के लिए जानलेवा साबित हो सकती है।
पहले नंबर लगाओ फिर जांच कराओ
मरीजों की समय पर अल्ट्रासाउंड जांच भी नहीं हो पाती है। जिला महिला व पुरुष अस्पताल में एक जैसी स्थिति है। यहां रोजाना ओपीडी में 1500 से अधिक मरीज आते हैं। इनमें करीब दो फीसदी मरीजों को अल्ट्रासाउंड जांच की जरूरत पड़ती है। मशीन एक और मरीजों की संख्या अधिक होने पर यहां मरीजों को नंबर देकर अगले दिन बुलाया जाता है।
सोमवार को ही चार्ज लिया है, एक निजी कार्य के चलते घर आना पड़ा, जिसके चलते व्यवस्थाएं नहीं देख सकीं। अवकाश से लौटने के बाद व्यवस्थाएं ठीक रखने का प्रयास किया जाएगा।-डॉ. पुष्पलता सम्मी, प्रभारी सीएमएस, जिला महिला अस्पताल
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