सैनिकों को पेंशन नहीं देने की नीति अपना रही है सरकार- राहुल गांधी

नई दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि सरकार का रवैया सैनिकों के हितों पर कुठाराघात करने वाला है और वन रैंक वन पेंशन (ओआरओपी) को नकारने के बाद अब उन्हें पेंशन नहीं देने की नीति पर काम किया जा रहा है। कांग्रेस नेता ने कई पूर्व सैनिकों को अप्रैल की …
नई दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि सरकार का रवैया सैनिकों के हितों पर कुठाराघात करने वाला है और वन रैंक वन पेंशन (ओआरओपी) को नकारने के बाद अब उन्हें पेंशन नहीं देने की नीति पर काम किया जा रहा है। कांग्रेस नेता ने कई पूर्व सैनिकों को अप्रैल की पेंशन नहीं मिलने संबंधी एक अखबार में छपी खबर को बुधवार को अपने ट्विटर हैंडल पर पोस्ट करते हुए सरकार पर हमला किया और कहा कि उसका रवैया सैनिक विरोधी है और वह सैनिकों के हितों को कुचलने की बराबर कोशिश करती है।
गांधी ने ट्वीट कर कहा, “वन रैंक वन पेंशन’ के धोखे के बाद अब मोदी सरकार ‘आल रैंक नो पेंशन’ की नीति अपना रही है। सैनिकों का अपमान देश का अपमान है। सरकार को पूर्व सैनिकों की पेंशन जल्द से जल्द देनी चाहिए।” कांग्रेस संचार विभाग के प्रमुख रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि मोदी सरकार का सशस्त्र बलों पर नियोजित हमला लंबे समय से चल रहा है।
सशस्त्र बलों के हितों पर यह न पहला हमला है और न आखिरी। सरकार ने उच्चतम न्यायालय में भी “वन रैंक वन पेंशन-ओआरओपी’ का विरोध किया है। विकलांगता पेंशन पर कर लगाने के साथ ही सरकार ने ईसीएचएस बजट में भी कटौती की है। उन्होंने कहा “सैन्य अस्पतालों में शॉर्ट सर्विस कमीशन अधिकारियों के इलाज से इनकार किया गया है और पूर्व सैनिकों के पुनर्वास के लिए पेट्रोल पंप, गैस एजेंसी आदि के आवंटन से इनकार किया गया है। सीएसडी कैंटीन में वस्तुओं की खरीद पर रोक लगाने के साथ ही इस समान पर जीएसटी लगाई जा रही है।”
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