पुणे के सीरम इंस्टीट्यूट पहुंचे मोदी, वैज्ञानिकों से जाना कोरोना वैक्सीन का हाल

नई दिल्ली। देश भर में कोरोना की वैक्सीन के इंतजार के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वैक्सीन बना रही प्रयोगशालाओं में शामिल पुणे स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया का आज शाम दौरा किया और वैज्ञानिकों से अब तक हुई प्रगति के बारे में जानकारी ली। इससे पहले मोदी वैक्सीन बना रही दो अन्य प्रयोगशालाओं में …

नई दिल्ली। देश भर में कोरोना की वैक्सीन के इंतजार के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वैक्सीन बना रही प्रयोगशालाओं में शामिल पुणे स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया का आज शाम दौरा किया और वैज्ञानिकों से अब तक हुई प्रगति के बारे में जानकारी ली।

इससे पहले मोदी वैक्सीन बना रही दो अन्य प्रयोगशालाओं में भी गये। वह सुबह अहमदाबाद स्थित जाइडस बायोटेक पार्क और दोपहर में हैदराबाद स्थित भारत बायोटेक प्रयोगशाला पहुंचे। पुणे में वैज्ञानिकों से मिलने के बाद मोदी ने ट्वीट कर कहा कि सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की टीम के साथ अच्छी बातचीत हुई। उन्होंने अब तक की प्रगति के बारे में जानकारी साझा की कि वे वैक्सीन बनाने की प्रक्रिया में कैसे तेजी ला रहे हैं। उनकी विनिर्माण इकाई का भी दौरा किया।

जाइडस कैडिला प्रयोगशाला में वैज्ञानिकों से मुलाकात के बाद मोदी ने कहा कि जाइडस कैडिला द्वारा विकसित की जा रही स्वदेशी डीएनए आधारित वैक्सीन के बारे में अधिक जानकारी लेने के लिए अहमदाबाद में जाइडस बायोटेक पार्क का दौरा किया। मैं उनके इस कार्य हेतु किये जा रहे प्रयास के लिए टीम की सराहना करता हूं। भारत सरकार इस यात्रा में उनका साथ देने के लिए उनके साथ सक्रिय रूप से कार्य कर रही है।

हैदराबाद स्थित भारत बायोटेक प्रयोगशाला के दौरे के बाद उन्होंने कहा कि हैदराबाद में भारत बायोटेक सुविधा में, स्वदेशी कोविड-19 वैक्सीन की तैयारी के बारे में जानकारी दी गई। अब तक के परीक्षणों में हुई प्रगति के लिए वैज्ञानिकों को बधाई दी। उनकी टीम त्वरित प्रगति के लिए आईसीएमआर के साथ मिलकर कार्य कर रही है।

उल्लेखनीय है कि मोदी स्वदेशी कोरोना वैक्सीन के विकास और इसे बनाने की स्थिति की समीक्षा तथा वितरण तैयारियों के लिए इन तीनों प्रयोगशालाओं के दौरे पर गये थे। मोदी ने इसी सप्ताह राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक के दौरान कहा था कि कोरोना की वैक्सीन कब तक आयेगी इसके बारे में सही स्थिति संबंधित कंपनी और वैज्ञानिक ही दे पायेंगे। हालाकि उन्होंने साथ ही कहा था कि सरकार की प्राथमिकता देश के हर नागरिक तक टीके की पहुंच को सरल बनाना है।