बदायूं: एसडीएम दातागंज का आदेश न्यायालय ने किया खारिज

एसडीएम, दातागंज ने चार अभियुक्तों को किया था मुचलका पाबंद

बदायूं: एसडीएम दातागंज का आदेश न्यायालय ने किया खारिज
कोर्ट

बदायूं, अमृत विचार। चार साल पहले दातागंज के एसडीएम द्वारा अभियुक्तों के खिलाफ किए गए मुचलका पाबंद  के आदेश को अपर सत्र न्यायाधीश निधि ने निरस्त कर दिया।

अधिवक्ता गजेंद्र प्रताप सिंह के अनुसार एक अपील 31 जनवरी 2024 को दायर की गई थी। जिसमें दातागंज एसडीएम ने थाना उसावां क्षेत्र के गांव रावतपुर निवासी कृष्णवीर सिंह, कलक्टर, मुकेश और बबलेश पुत्र प्यारे को 18 नवंबर 2020 को एक-एक लाख रुपये का मुचलका पाबंद कर दिया था। 27 नवंबर 2020 को उस धनराशि को जमा करने का भी आदेश जारी किया। उपनिरीक्षक प्रेमपाल सिंह ने 23 जुलाई को चालानी रिपोर्ट दाखिल की थी। जिसमें उन्होंने कहा कि मार्च महीने में इन सभी लोगों ने जमीनी विवाद के चलते विपक्षी अभियुक्तगण भूमि राज व नत्थू के विरुद्ध शांतिभंग की कार्रवाई कराई थी। अभियुक्त और विपक्षीगणों में समझौता हो गया था। जिसके बाद एसडीएम दातागंज ने चार मई को सभी को नोटिस जारी किया। एसडीएम ने अपने आदेश में यह लिखा कि 29 जून 2020 को अभियुक्तगण उपस्थित हुए और पाबंद मुचलका स्वीकार किया। अपर सत्र न्यायाधीश ने अपील का निस्तारण करते समय पाया कि पत्रावली पर ऐसा कोई प्रार्थना पत्र मौजूद नहीं था जिसमें अभियुक्तगण उपस्थित हुए हो और धारा 111 दप्रसं को स्वीकार किया हो। नोटिस अभियुक्तगण को मिले ही नहीं। सीधे पाबंद मुचलका की कार्रवाई कर दी गई जबकि धारा 116 के अनुसार सच्चाई का पता लगाना चाहिए था। न्यायाधीश ने आदेश में लिखा कि दंड प्रक्रिया संहिता में वर्णित कार्रवाई नियमानुसार न करके परगना मजिस्ट्रेट दातागंज ने भारी चूक की है। इसलिए अपील स्वीकार की जाती है और आदेश 18 नवंबर और आदेश 27 नवंबर निरस्त किए जाता है। सरकार की तरफ से एडीजीसी मदन लाल राजपूत अपनी बात कहने में विफल रहे। अपीलकर्ता की अपील स्वीकार हुई।