पीलीभीत: टाइगर रिजर्व में बाघ ही नहीं, पक्षियों का भी बसने लगा है संसार

पीलीभीत: टाइगर रिजर्व में बाघ ही नहीं, पक्षियों का भी बसने लगा है संसार

सुनील यादव, पीलीभीत, अमृत विचार। पीलीभीत टाइगर रिजर्व की जैव विविधता एवं बेहतर जलवायु बाघों के साथ अब परिदों को भी रास आने लगी है। खास बात यह है कि यहां 10  से अधिक वैश्विक स्तर के पक्षियों की मौजूदगी भी देखी जा रही है। यह दीगर बात है कि इन सबके बावजूद पीटीआर में इन पक्षियों की संरक्षण के कोई माकूल इंतज़ाम नहीं हैं।

73 हजार हेक्टयर में फैले पीलीभीत टाइगर रिजर्व में वन्यजीवों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है। यहां 70 से अधिक बाघ मौजूद हैं। बाघों की संख्या को लेकर पीटीआर अंतरराष्ट्रीय अवार्ड भी जीत चुका है। इधर अब पीटीआर की आबोहवा परिंदों को भी रास आने लगी है। टाइगर रिज़र्व आंकड़ो के मुताबिक वर्तमान में पीटीआर में पक्षियों की 350 से अधिक प्रजातियां पाई जाती हैं। पक्षियों के इस संसार में अब वैश्विक स्तर के पक्षियों ने भी अपनी आमद दर्ज कराई है।

स्वाम्प फ्रानकोलिन व स्लेटी वुडपैकर समेत मौजूद है प्रजातियां
टरक्वाइज वाइल्ड लाइफ कंजर्वेशन सोसायटी के अख्तर मियां के मुताबिक पीलीभीत टाइगर रिजर्व में वैश्विक स्तर के कुछ ऐसे पक्षियों की प्रजातियां मौजूद है जो शेड्यूल वन से भी ऊपर हैं। इसमें स्वाम्प फ्रानकोलिन, स्लेटी वुडपैकर समेत 10  से अधिक प्रजातियां है जो वर्तमान में यहां मौजूद हैं। इसके अलावा सात समुंदर पार से भी सायबेरियन पक्षी भी बड़ी संख्या में यहां आते है और तीन माह से प्रवास के बाद अपने देश लौट जाते हैं।

इन सबके बीच पीलीभीत टाइगर रिजर्व में पक्षियों के संरक्षण को लेकर कोई इंतजाम नहीं किये गए है। विशेषज्ञों के मुताबिक मानवीय हस्तक्षेप के चलते पक्षियों के अस्तित्व खतरे मंडरा रहा है। लिहाजा जब यहां पक्षियों की प्रजातियों की तादाद बढ़ी है तो संरक्षण के इंतजाम भी होने चाहिए।

ये है वैश्विक स्तर के पक्षियों की प्रजातियां
- स्वाम्प फ्रानकोलिन
- बंगाल फ्लोरिकन
- स्लेटी वुडपैकर
- व्हाइट बैक्ड वल्चर
- स्लेंडर बिल्ड वल्चर
- रेड हेडेड वल्चर
- ग्रास आउल
- स्लेंडर बिल्ड वल्चर

अनुश्रवण के लिए टीम का हो गठन
पीलीभीत टाइगर रिजर्व में पक्षियों को लेकर असीम संभावनाएं हैं। वैश्विक स्तर के पक्षियों की प्रजातियां यहां देखी जा रही है। यदि इनके अनुश्रवण के लिए एक टीम का गठन  किया जाए तो इनका संरक्षण आसान हो जाएगा। - अख्तर मियां, टरक्वाइज वाइल्ड लाइफ कंजर्वेशन सोसायटी

पीलीभीत टाइगर रिजर्व में पक्षियों की 350 से अधिक प्रजातियां पाई जाती है। जैव विविधता व बेहतर जलवायु के कारण वन्यजीवों के साथ पक्षियों की तादाद भी बढ रही है।  समय-समय पर विश्व प्रकृति निधि के सहयोग से पक्षी संरक्षण से जुड़े कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। - नवीन खंडेलवाल, डिप्टी डायरेक्टर, पीटीआर

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