काशीपुर: अधिशासी अभियंता से 50 लाख की रंगदारी के आरोप में पूर्व एसडीओ का बेटा गिरफ्तार
काशीपुर, अमृत विचार। विद्युत विभाग के अधिशासी अभियंता से 50 लाख रुपये की रंगदारी मांगने के मामले में पुलिस ने विभाग के रिटायर्ड एसडीओ के बेटे को गिरफ्तार किया है। जिसने अपनी महिला मित्र के माध्यम से पीड़ित को रजिस्ट्री पोस्ट कराई थी। आरोपी ने अपने पिता का नो ड्यूज सर्टिफिकेट नहीं देने पर दबाव के लिए ऐसा किया था। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है।
कोतवाल मनोज रतूड़ी ने बताया कि 9 जनवरी 2024 को विद्युत विभाग के अधिशासी अभियंता अजित कुमार यादव ने तहरीर देकर बताया था कि रजिस्टर्ड डाक के जरिए उनसे 50 लाख रुपये की रंगदारी मांगी गई है। तहरीर के आधार पर पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी थी।
जांच में पुलिस ने रजिस्ट्री काशीपुर के डाकघर से होना पाया। जिसके बाद पुलिस ने डाकघर के सीसीटीवी कैमरे खंगाले, तो एक संदिग्ध महिला की पहचान हुई। अलीगंज रोड निवासी महिला ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि उनके मित्र नितेश निवासी काशीपुर ने उसे एक सीलबंद रजिस्ट्री दी थी और पोस्ट करने को बोला था।
जिस पर अजित कुमार यादव, अधिशासी अभियंता, काशीपुर लिखा था। जिसके आधार पर पुलिस ने नितेश को हिरासत में लेकर पूछताछ की, तो उसने रजिस्ट्री पोस्ट कराने की बात कबूली। जिसके आधार पर पुलिस ने आरोपी के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उसे कोर्ट में पेश किया।
पिता के रिटायरमेंट के बाद नो ड्यूज सर्टिफिकेट नहीं मिलने पर भेजा पत्र
काशीपुर। नितेश ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि उसके पिता मदनलाल पिछले साल एसडीओ जसपुर के पद से रिटायर हुए तथा उन्होंने खटीमा बाजपुर काशीपुर जसपुर आदि क्षेत्रों में नौकरी की है। जब वह रिटायर हो रहे थे तो सभी जगह से नोड्यूज सर्टिफिकेट मिल गया था, लेकिन काशीपुर से नो ड्यूज सर्टिफिकेट प्राप्त नहीं हो पा रहा था।
पूछने पर बताया कि उनके पिता के ऊपर कोई विभागीय जांच चल रही थी, इसलिए अजीत कुमार यादव अधिशासी अभियंता द्वारा उनको नो डयूज सर्टिफिकेट नहीं दिया जा रहा था।
जिस कारण उसके पिता के रिटायरमेंट का पैसा वह अन्य फंड नहीं मिल पा रहा था। जिससे उसके पिता भी मानसिक परेशानी में थे। इसी परेशानी को देखते हुए उसने अजीत कुमार याद पर दबाव बनाने के लिए रजिस्ट्री के माध्यम से एक धमकी भरा पत्र अपनी महिला मित्र के माध्यम से डाकघर से भेजा था।