बरेली: तहसील कर्मी ने सेवानिवृत्त राजस्व कर्मी से 10 लाख ठगे, रिपोर्ट दर्ज

बरेली, अमृत विचार। बीसलपुर में तैनाती के दौरान तहसील कर्मी ने सेवानिवृत्त राजस्व कर्मी को बेटे की वाणिज्य कर विभाग में नौकरी लगवाने का झांसा दिया।
आरोपी ने नौकरी लगवाने के नाम पर वर्ष 2014 में चेक से 10 लाख रुपये ले लिए और फर्जी नियुक्त पत्र भी दे दिया। पद ग्रहण करने पहुंचने पर हकीकत सामने आई तो पीड़ित ने रुपये मांगे। इस पर तहसील कर्मी धमकी दी। पीलीभीत एसपी के आदेश पर नौ साल बाद पीलीभीत पुलिस ने आरोपी के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली है।
निरंजन कुंज कॉलोनी निवासी राजेश कुमार सक्सेना ने दर्ज कराई रिपोर्ट में बताया कि वह राजस्व विभाग के सेवानिवृत्त कर्मचारी हैं। सेवाकाल के दौरान तहसील बीसलपुर में बरेली के मोहल्ला कटकुइया निवासी सैयद कामरान अली भी काम करता था, जो कि वर्तमान में तहसील नवाबगंज बरेली में तैनात है।
आरोपी ने पीड़ित को वाणिज्य विभाग में अच्छी पैठ होना बताया, कहा कि वह उनके बेटे की नौकरी लगवा देगा। नियुक्ति पत्र प्राप्त होने पर दस लाख रुपये देना होगा। कुछ समय बाद आरोपी ने एक नियुक्ति पत्र की फोटो दिखाई और बताया कि ये डाक के माध्यम से जल्द आपके घर पहुंचेगा। इस पर 18 मई 2014 को 10 लाख रुपये चेक द्वारा दे दिए।
फर्जी नियुक्त पत्र देकर की ठगी
राजेश कुमार सक्सेना ने बताया कि सैयद कामरान अली ने उनके यहां डाक से एक नियुक्त पत्र भेजा। जिस पर उत्तर प्रदेश सरकार की मोहर लगी थी और डिपार्टमेंट ऑफ कामर्शियल टैक्सेस वाराणसी लिखा था। नियुक्ति पत्र जारी होने की तिथि 17 जून 2014 लिखी थी। इसे असली मानकर पीड़ित अपने पुत्र सचिन सक्सेना को साथ लेकर वाणिज्य कर अधिकारी सोनभद्र के कार्यालय गए। वहां पता चला कि नियुक्ति पत्र फर्जी है। ऐसी कोई भर्ती होनी ही नहीं है। कई बार रुपये मांगे, लेकिन बहाना बनाता रहा। 18 अगस्त 2023 को जब रुपये मांगे तो इन्कार कर दिया। इसके बाद एसपी से मामले की शिकायत की।
नौकरी लगवाने के नाम पर ठगी की एफआईआर दर्ज की गई है। विवेचना में साक्ष्य के आधार पर कार्रवाई कराई जाएगी। -नरेश त्यागी, इंस्पेक्टर सदर पीलीभीत
ये भी पढे़ं- बरेली: शहामतगंज के व्यापारियों ने पॉलिथीन के नाम पर शोषण का लगाया आरोप