EPF पर 2021-22 का ब्याज अभी तक नहीं दिया गया, EPFO न्यासियों ने जताई चिंता
नई दिल्ली। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के न्यासियों ने वित्त वर्ष 2021-22 के लिए कर्मचारी भविष्य निधि (ईपीएफ) का ब्याज कर्मचारियों के ईपीएफ खाते में अभी तक नहीं डालने पर चिंता जताई है। हालांकि, संबंधित वित्त वर्ष के लिए ब्याज को पिछले साल जून में अनुमोदित कर दिया गया था। न्यासियों या ट्रस्टियों में कर्मचारियों के साथ नियोक्ताओं के प्रतिनिधि भी शामिल हैं।
केंद्रीय श्रम मंत्री भूपेंद्र यादव की अगुवाई वाले ईपीएफओ के केंद्रीय न्यासी बोर्ड (सीबीटी) ने मार्च, 2022 में 2021-22 के लिए 8.1 प्रतिशत के ब्याज को मंजूरी दी थी। यह पिछले चार दशकों की सबसे निचली दर है। केंद्रीय न्यासी बोर्ड ईपीएफओ का निर्णय लेने वाला शीर्ष निकाय है। हिंद मजदूर सभा के महासचिव हरभजन सिंह सिद्धू ने पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘करीब 10 दिन पहले मैंने ईपीएफओ अधिकारियों के साथ यह मुद्दा उठाया था। उन्होंने कहा था कि सिस्टम (सॉफ्टवेयर) के साथ कोई मुद्दा है जिसे जल्द ठीक कर लिया जाएगा।’’ सिद्धू ईपीएफओ के ट्रस्टी भी हैं।
सेंटर ऑफ इंडियन ट्रेड यूनियंस (सीटू) का प्रतिनिधित्व करने वाले ईपीएफओ के एक अन्य ट्रस्टी पद्मनाभन ने कहा कि इसको लेकर कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया गया है। उन्होंने कहा कि वह इस मुद्दे को सीबीटी की अगली बैठक में उठाएंगे। नियोक्ताओं का प्रतिनिधित्व करने वाले एक अन्य ट्रस्टी के ई रघुनाथन ने भी इस मामले को संज्ञान में लेते हुए इसे ईपीएफओ अधिकारियों के समक्ष उठाया है।
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