संसाधनों का बेलगाम दोहन ही प्राकृतिक आपदाओं का प्रमुख कारण, बीबीएयू में शुरू हुई कार्यशाला

संसाधनों का बेलगाम दोहन ही प्राकृतिक आपदाओं का प्रमुख कारण, बीबीएयू में शुरू हुई कार्यशाला

लखनऊ, अमृत विचार। बाबासाहेब भीमराव आम्बेडकर विश्‍वविद्यालय के भूगर्भ विभाग और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन संस्थान के संयुक्त तत्वावधान में पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन सोमवार को शुरू हुआ। यह कार्यक्रम ” रिवर रेजुवेनेशन, क्लाइमेट रेसिलिएन्से एंड डीआरआर: प्लानिंग, पर्सपेक्टिव, पॉलिसीज़ ( नदी कायाकल्प, जलवायु लचीलापन और डीआरआर योजना, परिप्रेक्ष्य एवं नीतियां)” विषय पर आयोजित …

लखनऊ, अमृत विचार। बाबासाहेब भीमराव आम्बेडकर विश्‍वविद्यालय के भूगर्भ विभाग और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन संस्थान के संयुक्त तत्वावधान में पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन सोमवार को शुरू हुआ। यह कार्यक्रम ” रिवर रेजुवेनेशन, क्लाइमेट रेसिलिएन्से एंड डीआरआर: प्लानिंग, पर्सपेक्टिव, पॉलिसीज़ ( नदी कायाकल्प, जलवायु लचीलापन और डीआरआर योजना, परिप्रेक्ष्य एवं नीतियां)” विषय पर आयोजित किया जा रहा है. कार्यक्रम का उद्घाटन सत्र विवि के पर्यावरण विज्ञान विद्यापीठ के सभागार में आयोजित हुआ।

विवि के कुलपति आचार्य संजय सिंह ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की। उद्घाटन सत्र पर सभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि सनातन परंपरा में प्रकृति को मां के रूप में देखा गया है। ऐसा माना गया है कि प्रकृति के कण-कण में ईश्वर का वास है, यही सनातन दृष्टिकोण है और यही हमारी परंपरा का आधार भी है। हमें प्राकृतिक संसाधनों का त्याग के साथ भोग करना चाहिए, बेलगाम संसाधनों का दोहन ही प्राकृतिक आपदाओं का प्रमुख कारण है।

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