Kannauj: खामियों समेत जारी हुई बोर्ड परीक्षा केंद्रों की अनंतिम सूची; जिले में बनाए गए 75 केंद्र, 14 नवंबर तक मांगी गईं आपत्तियां

Kannauj: खामियों समेत जारी हुई बोर्ड परीक्षा केंद्रों की  अनंतिम सूची; जिले में बनाए गए 75 केंद्र, 14 नवंबर तक मांगी गईं आपत्तियां

कन्नौज, अमृत विचार। यूपी बोर्ड की अगले साल होने वाली हाईस्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षा के लिए केंद्रों की अनंतिम सूची जारी हो गई है। इसमें 75 विद्यालयों के नाम शामिल हैं जिसमें चार राजकीय, 49 सहायता प्राप्त व 22 वित्तविहीन स्कूल हैं। 14 नवंबर तक आपत्तियां व सुझाव मांगे गए हैं। दूसरी ओर कहा जा रहा है कि जारी हुई सूची में ऐसे भी कुछ नाम हैं जहां सुविधाएं नहीं हैं और उनको केंद्र बना दिया गया।   

फरवरी 2025 में संभावित बोर्ड परीक्षा के लिए माध्यमिक शिक्षा परिषद ने जिले में बनाए गए केंद्रों की प्रस्तावित अनंतिम सूची जारी की है। डीआईओएस कार्यालय की ओर से जारी हुई सूची में कहा गया है कि इसमें परीक्षार्थियों का आवंटन भी किया गया है। प्रधानाचार्यों व प्रबंधकों से वेबसाइट पर आपत्तियां व शिकायतें ऑनलाइन लिए जाएंगे। इसमें साक्ष्य व कारण भी बताने होंगे। 

निर्धारित तारीख के बाद आपत्तियां स्वीकार नहीं होंगी। परिषद के सचिव भगवती सिंह की विज्ञप्ति के मुताबिक आपत्तियों को जनपदीय केंद्र निर्धारण समिति से अनुमोदित आख्या परिषद की वेबसाइट पर 23 नवंबर तक अग्रसारित की जाएगी। आपत्तियों के लिए प्रारूप भी जारी किया गया है। इसमें आठ बिंदु शामिल हैं। वर्ष 2023-24 में 79 परीक्षा केंद्रों की अनंतिम सूची जारी हुई थी। बाद में 100 केंद्रों पर अंतिम मोहर लगी थी। 

इनमें नहीं हैं सुविधाएं, फिर भी बनाए केंद्र

बताया गया है कि सूची में चार राजकीय विद्यालय शामिल हैं इसमें राजकीय इंटर कॉलेज उमर्दा को छोड़कर अन्य तीन में सीसीटीवी कैमरा व परीक्षा केंद्र बनाने को लेकर अन्य जरूरी सुविधाएं नहीं हैं। राजकीय इंटर कॉलेज समधन, राजकीय हायर सेकेंड्री स्कूल किसई जगदीशपुर, रमाबाई राजकीय इंटर कॉलेज छिबरामऊ में खामियां अधिक हैं। इसके अलावा रामाश्रम हायर सेकेंड्री स्कूल श्यामनगर तालग्राम में भी बोर्ड परीक्षा के मानक पूरे नहीं हैं। 

बोर्ड ने गलती दोहराई

खास बात यह है कि पिछले साल 2023-24 में जो परीक्षा केंद्रों की अनंतिम सूची आई थी उसमें भी खामियां थीं। पिछली लगातार दो सूचियों में छिबरामऊ के रमाबाई राजकीय इंटर कॉलेज को केंद्र बनाया जा रहा है जिसे तीसरी बार भी शामिल किया गया है। पिछले साल भवन का निर्माण कार्य चल रहा था। कक्षाएं एक डिग्री कॉलेज में चलती हैं। इस पर जिम्मेदारों का तर्क है कि सूची प्रयागराज परिषद कार्यालय से जारी हुई है। जिले के सभी विद्यालयों की जानकारी वेबसाइट पर फीड कराई गई थी। दूसरी ओर चर्चा है कि बोर्ड ने मनमाने तरीके से सूची जारी की है। पिछली गलती से अगर सीख ली होती तो इस बार ऐसा न होता।

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