संभल : दूध में मिलावट करने पर छह माह का कारावास

न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में विचाराधीन था मुकदमा, 2009 में तत्कालीन खाद्य निरीक्षक ने पकड़ी थी मिलावटखोरी

संभल : दूध में मिलावट करने पर छह माह का कारावास

संभल/चन्दौसी, अमृत विचार। दूध में मिलावटखोरी के मामले में आरोपी को अदालत ने दोषी करार देते हुए छह माह के कारावास व दो हजार रुपये अर्थदण्ड की सजा सुनाई है।

बहजोई के तत्कालीन खाद्य निरीक्षक ने सात अगस्त 2009 थाना क्षेत्र के गांव किरारी निवासी कोमिल को गांव ठाठी साकिन शोभापुर मार्ग में दूध बेचने के लिए ले जाते हुए चेक किया था। दूध में मिलावट का संदेह होने पर उन्होंने आरोपी से 15 सौ एमएल दूध 27 रुपये में खरीदा। इसके बाद नमूना सील कर जांच के लिए मेरठ प्रयोगशाला भेज दिया था।

 30 अगस्त 2009 को आयी जांच रिपोर्ट में दूध का नमूने में मिल्क सॉलिड्स नाट फैट करीब आठ प्रतिशत कम पाया गया। इससे दूध में मिलावट की पुष्टि हुई। तभी से यह मामला मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में विचाराधीन था। 

शनिवार को मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट बबिता पाठक ने आरोपी कोमिल को धारा 7/16 खाद्य पदार्थ अपमिश्रण अधिनियम में दोषी मानते हुए छह माह के साधारण कारावास और दो हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना अदा न करने पर आरोपी को सात दिन की अतिरिक्त सजा भुगतनी पड़ेगी।

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