देश विरोधी ताकतों पर नजर रखना सरकार की जिम्मेदारी है: नड्डा
अहमदाबाद/वडोदरा। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अध्यक्ष जे. पी नड्डा ने शनिवार को कहा कि जिस तरह से ‘‘एंटीबॉडी खराब कोशिकाओं पर नियंत्रण रखती है’, उसी तरह सरकार की यह जिम्मेदारी है कि वह देश विरोधी ताकतों पर नजर रखे।
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उन्होंने गुजरात विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा के घोषणापत्र में ‘कट्टरपंथ रोधी प्रकोष्ठ’ बनाने संबंधी वादे का समर्थन करते हुए यह कहा। गुजरात विधानसभा चुनावों के लिए प्रदेश में सत्तारूढ़ भाजपा ने शनिवार को अपना घोषणापत्र जारी किया था। घोषणापत्र में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) को लागू करने तथा संभावित खतरों और भारत विरोधी ताकतों एवं आतंकी संगठनों के ‘स्लीपर सेल’ की पहचान करने तथा उन्हें खत्म करने के लिए एक ‘एंटी-रेडिकलाइजेशन सेल’ (कट्टरता रोधी प्रकोष्ठ) बनाने का वादा किया था।
नड्डा ने ‘पीटीआई-भाषा’ को दिये एक साक्षात्कार में कहा कि देश और समाज के खिलाफ काम करने वाली ताकतों पर नजर रखना सरकार की जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा, ‘‘मानव शरीर में जिस तरह से एंटीबॉडी खराब कोशिकाओं पर नियंत्रण रखती है, वैसे ही सरकार की जिम्मेदारी देश में राष्ट्र विरोधी ताकतों पर नियंत्रण रखना है।’’
यूसीसी के संबंध में नड्डा ने कहा कि यह पार्टी के लिए एक "राष्ट्रीय मुद्दा" है और वह इसके लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, ‘‘देश के संसाधन और उसकी जिम्मेदारियां सभी के लिए समान हैं। इसलिए, यूसीसी एक स्वागत योग्य कदम है। हम अधिक से अधिक राज्यों में यूसीसी लागू करना चाहते हैं।’’ गुजरात विधानसभा चुनाव में भाजपा द्वारा एक भी मुस्लिम उम्मीदवार नहीं उतारे जाने के बारे में पूछे जाने पर नड्डा ने कहा कि उनकी पार्टी ‘सबका साथ, सबका विकास’ में विश्वास करती है।
उन्होंने कहा, ‘‘दिवंगत डॉ (एपीजे) अब्दुल कलाम भाजपा के समर्थन से (भारत के) राष्ट्रपति बने, फिर केंद्र की (नरेंद्र) मोदी सरकार ने मुस्लिम राज्यपालों को भी नियुक्त किया। इसलिए, हम ‘सबका साथ, सबका विकास’ के सिद्धांत का पालन करते हैं, और चुनाव में टिकट विशुद्ध रूप से जीत की संभावना के आधार पर दिए जाते हैं।’’
भाजपा द्वारा अपने प्रतिद्वंद्वी दलों की तरह गुजरात चुनावों के लिए अपने घोषणापत्र में "मुफ्त योजनाओं’’ की घोषणा करने पर, नड्डा ने कहा कि हर व्यक्ति को "सशक्तीकरण और प्रलोभन के बीच अंतर समझना चाहिए।’’ भाजपा प्रमुख ने कहा, ‘‘आम आदमी पार्टी (आप) और कांग्रेस दोनों जानती हैं कि वे गुजरात में सत्ता में नहीं आ रही हैं।
इसलिए, वे दोनों उसके लिए आवश्यक धन और बजट का हिसाब लगाये बिना मुफ्त उपहारों की घोषणा कर सकती हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमारे कार्यक्रम गरीबों और जरूरतमंदों को सशक्त बनाने के लिए हैं। यह मुफ्त उपहारों की तरह नहीं है, जो सभी के लिए मुफ्त हैं, बल्कि वे विशेष रूप से आबादी के एक वर्ग के लिए हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी गुजरात के लोगों के दिलों में बसते हैं और राज्य के लोग फिर से भाजपा में अपना विश्वास जताएंगे और पार्टी चुनाव में जीत हासिल करेगी।’’ गुजरात में विधानसभा चुनाव के लिए दो चरणों में एक और पांच दिसंबर को मतदान होगा, जबकि मतगणना आठ दिसंबर को होगी।
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