बरेली: शोध करने वाले छात्र कक्षा में पढ़ाएंगे, प्रति माह मिलेंगे 12 हजार

बरेली, अमृत विचार। एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय से शोध करने वाले छात्र-छात्राओं को प्रतिमाह 12 हजार रुपये कैंपस में ही पढ़ाने के लिए मिलेंगे। उन्हें कक्षाएं लेनी होंगी। यह जानकारी शनिवार को कुलपति की अध्यक्षता में हुई बैठक में दी गई। बैठक में कई अन्य महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। विश्वविद्यालय में सोमवार से शुरु होने वाले …

बरेली, अमृत विचार। एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय से शोध करने वाले छात्र-छात्राओं को प्रतिमाह 12 हजार रुपये कैंपस में ही पढ़ाने के लिए मिलेंगे। उन्हें कक्षाएं लेनी होंगी। यह जानकारी शनिवार को कुलपति की अध्यक्षता में हुई बैठक में दी गई। बैठक में कई अन्य महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए।

विश्वविद्यालय में सोमवार से शुरु होने वाले शोध प्रस्तुतिकरण के संबंध में शोध निदेशालय में कुलपति प्रो. केपी सिंह की अध्यक्षता में सभी संकायाध्यक्ष, विभागाध्यक्ष, शोध निर्देशक के साथ बैठक हुई। विश्वविद्यालय में नए रिसर्च ऑर्डिनेंस, 2020 के अधीन सोमवार से विभिन्न विषयों के शोध कार्य पंजीकरण के लिए प्रस्तुतिकरण शुरू करने जा रहा है। इस बार शोध कार्य प्रस्तुतिकरण व पंजीकरण की पूरी प्रक्रिया में कई महत्वपूर्ण परिवर्तन किए गए हैं।

जिससे शोधकर्ता अपना अधिक समय विभाग में दे सकें। इसके तहत ऐसे शोधकर्ता जिनको जेआरआफ व अन्य कोई छात्रवृति मिल रही है, उनको छोड़कर अन्य सभी नेट व आरईटी पास शोधकर्ताओं को 12000 रुपये प्रतिमाह धनराशि शोध पंजीकरण से तीन वर्ष तक दिए जाएंगे। इसके लिए विषय वार मेरिट लिस्ट बनाकर विश्वविद्यालय शोधकर्ताओं का सहयोग करेगा। नए शोध ऑर्डिनेंस, 2020 में प्रवेश पाने वाले सभी शोधकर्ताओं को टीचिंग असिस्टेंट के रूप में अपने संबंधित विभाग में शिक्षक के रूप में कक्षाएं लेना अनिवार्य होगा।

जिससे शोधकर्ता का विभाग में पूरा समय रहेगा और सभी शैक्षणिक कार्यों को पूर्ण करेगा। सभी जेआरएफ शोधकर्ताओं व टीचिंग असिस्टेंट की रोजाना उपस्थिति के आधार पर ही छात्रवृति के फार्म को आगे प्रेषित किया जाएगा। नए रिसर्च ऑर्डिनेंस के अनुसार इस बार पार्ट टाइम पीएचडी के प्रवेश होंगे। पार्ट टाइम में कोर्स वर्क प्रोग्राम के लिए आनलाइन विकल्प भी शोधकर्ताओं को उपलब्ध रहेगा।

कुलपति ने बताया कि राज्य विश्वविद्यालयों में महात्मा ज्योतिबा फुले रुहेलखंड विश्वविद्यालय अपने शोधकर्ताओं को गुणवत्तापूर्ण शोध कार्य को बढ़ावा देने के लिए प्रतिमाह 12 हजार रुपये प्रदान करने वाला पहला विश्वविद्यालय बनने जा रहा है। हमारा लक्ष्य आने वाले एक वर्ष में एक हजार नए उच्च स्तरीय शोधकर्ताओं का पंजीकरण का है।

बैठक में शोध निर्देशक प्रो. सुधीर कुमार, डा. संजीव त्यागी, डा. अनुराग अग्रवाल, प्रो एस के पांडेय, प्रो संजय मिश्रा, प्रो एसएस बेदी, प्रो विजय बहादुर, प्रो शोभना सिंह, प्रो मनीष रॉय, प्रो रश्मि अग्रवाल, प्रो एसएम सिंह, डॉ ओपी उपाध्याय, डॉ अमित सिंह, डॉ डीडी शर्मा, डॉ मदन लाल और अन्य मौजूद रहे।

साेमवार से शोध प्रवेश होंगे
सोमवार को छात्र-छात्राओं के विषयों में शोध प्रवेश होंगे, जिसमें काफी संख्या में अभ्यर्थियों की उपस्थिति विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों में रहेगी। उसके विषयों में यह प्रकिया जारी रहेगी। कई नए विषयों जैसे आयुर्वेद चिकित्सा विज्ञान आदि का भी प्रस्तुतिकरण होगा।

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