मुरादाबाद : मादक पदार्थों की तस्करी में दो महिलाएं समेत पांच गिरफ्तार
मुरादाबाद, अमृत विचार। सिविल लाइंस पुलिस ने मादक पदार्थों की तस्करी में लिप्त अंतर्राजीय गिरोह के पांच सदस्यों को गिरफ्तार किया है। गिरोह में दो महिलाएं भी शामिल हैं। इनके कब्जे से 27 किलोग्राम गांजा बरामद किया गया है। गांजे को कार की डिग्गी में छिपा कर विशाखापट्टनम से मुजफ्फरनगर ले जाया जा रहा था। …
मुरादाबाद, अमृत विचार। सिविल लाइंस पुलिस ने मादक पदार्थों की तस्करी में लिप्त अंतर्राजीय गिरोह के पांच सदस्यों को गिरफ्तार किया है। गिरोह में दो महिलाएं भी शामिल हैं। इनके कब्जे से 27 किलोग्राम गांजा बरामद किया गया है। गांजे को कार की डिग्गी में छिपा कर विशाखापट्टनम से मुजफ्फरनगर ले जाया जा रहा था। पकड़े गए आरोपियों के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट में कार्रवाई की गई है। उनके खिलाफ गैंगस्टर की करवाई भी की जाएगी। पकड़े गए गांजे की कीमत 10 से 12 लाख रुपये बताई जा रही है।
मामले का खुलासा करते हुए एसपी सिटी अखिलेश भदौरिया ने बताया कि मुखबिर की सूचना पर सिविल लाइंस पुलिस ने कार को रोका। तलाशी में कार में छिपा हुआ 27 किलोग्राम गांजा मिला। इस पर पुलिस ने कार और उसमें सवार शंकर सिंह नेगी निवासी ज्योति रबर के पास छपरौला थाना बादलपुर जिला गौतमबुद्ध नगर, सचिन उर्फ सतेंद्र निवासी रतनपुरी जिला मुजफ्फरनगर, लव कुमार निवासी ग्राम गारडी थाना सलिया जिला बलौदा बाजार छत्तीसगढ़, प्रतिमा निवासी ग्राम भोरी थाना तुमगोव जिला महासमुंद छत्तीसगढ़ और शाहजहां निवासी ग्राम कुआं भट्टा थाना मणिकपुर जिला कोरवा छत्तीसगढ़ को गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस से बचने को करते थे महिलाओं का इस्तेमाल
आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि वह पुलिस से बचने के लिए महिलाओं का इस्तेमाल करते थे। चेकिंग में पुलिस महिलाओं को देख परिवार समझकर गंभीरता से नहीं लेती थी। आरोपी इसी का फायदा उठाकर पुलिस की आंखों में धूल झोंक रहे थे। गिरोह में शामिल महिलाओं को भी मुनाफे में बराबर का हिस्सा मिलता था।
शंकर है गिरोह का मास्टरमाइंड
सीओ सिविल लाइंस आशुतोष तिवारी ने बताया कि इस गिरोह का मास्टरमाइंड शंकर है। शंकर नोएडा में फलों का ठेला लगता था। उसे गांजा पीने का शौकीन था। वहीं उसकी मुलाकात गांजे के होलसेलर सचिन से हुई। इसके बाद वह इस धंधे का मास्टरमाइंड बन गया।
शंकर ने छत्तीसगढ़ की युवती से शादी करके वहीं बनाया ठिकाना
इंस्पेक्टर सिविल लाइंस गजेंद्र सिंह ने बताया कि शंकर ने मादक पदार्थों की तस्करी के धंधे को बढ़ाने के लिए छत्तीसगढ़ को ही अपना स्थाई ठिकाना बना लिया। शंकर ने इसके लिए वहां की युवती से शादी भी कर ली। उसके दो बच्चे भी हैं।
तस्करी के लिए विशेष रूप से मोडिफाई कराई थी कार
आरोपियों ने तस्करी में इस्तेमाल की गई कार को विशेष रूप से मॉडिफाई कराया था। हरियाणा नंबर की सेलेरो कार की पिछली सीट और डिग्गी के बीच में गुप्त तहखाना बनाया हुआ था। इसमें एक छोटा सो चोकोर कट लगा रखा था। इसके ऊपर चिपकने वाला कपड़ा लगा हुआ था। तस्करों ने सीएनजी के सिलेंडर में भी कट लगाकर गांजा भर रखा था। इसके अलावा पिछला बंपर भी विशेष तरीके से तैयार कराया गया था। उसके नीचे चादर लगाकर बंद करा दिया गया था। बैक लाइट खोलकर इसमें भी मादक पदार्थ भरने के लिए जगह बनाई हुई थी। पहली नजर में कार को देखकर कोई नहीं कह सकता था कि इसमें मादक पदार्थ भरे हुए हैं। पहली नजर में सिविल लाइंस पुलिस को भी लगा था कि मुखबिर ने उन्हें झूठी खबर दी है। मगर जब गहनता से कार की तलाशी ली गई तो सच्चाई सामने आ गई।
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