उन्नाव में ठंड के मौसम में रोडवेज की बसों में ठिठुर रहे लोग, नहीं ठीक की गईं बसों की जाम खिड़कियां, अफसर बने हुए अनजान
उन्नाव, अमृत विचार। ठंड का मौसम शुरू हो गया है। ऐसे में रोडवेज की बसों में खिड़कियां टूटी होने से यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। क्योंकि बसों की खिड़कियों के शीशे या तो जाम हैं या उनकी कुंडियां टूटी हुई हैं। जिसे चाहकर भी बंद नहीं किया जा सकता है। ऐसे में इन बसों से यात्रा करने वालों को ठंड में कंपकंपा देने वाली बर्फीली हवा से ठिठुरना पड़ रहा है।
बता दें कि उन्नाव डिपो में 92 बसों का बड़ा बेड़ा है। इस बार ठंड को लेकर रोडवेज विभाग की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। बसों में सुविधाओं की पड़ताल में तमाम खामियां सामने आईं। नवंबर माह समाप्ति की ओर है और ठंड ने असर दिखाना शुरू कर दिया है। एकाएक मौसम खराब होने से कई दिनों तक घना कोहरा पड़ेगा।
जिससे दिसंबर माह में होने वाली ठंड का एहसास अभी से होने लगा है। ठंड में इन बसों में यात्रा बहुत ही कठिन होने वाली है। जानकारी लेने पर पता चला कि शहर के बस स्टाप से उन्नाव से दिल्ली, कानपुर, लखनऊ, गोरखपुर, मेरठ सहित कई रूटों पर 50 से अधिक बसों का संचालन होता है। वहीं लोकल में बिछिया, पुरवा, मौरावां, भगवंतनगर, नवाबगंज, अचलगंज, बीघापुर, बांगरमऊ आदि रूटों पर भी विभाग की बसें दौड़ती हैं। यहां से रोज हजारों यात्री आवागमन करते हैं।
अधिकांश बसों में वाइपर और खिड़कियों के शीशे खराब पड़े हैं। उनके शीशे जाम हैं या तो टूटे हैं। ऐसे में ठंड में रोडवेज बस की यात्रा करना लोगों के लिये मुश्किल भरा सफर साबित होगा। इसके अलावा शहर के रोडवेज बस स्टाप पर भी बंद यात्री प्रतीक्षालय की व्यवस्था नहीं है। वह चारों ओर से खुला है। ठंड में यात्रियों के लिए वहां रात गुजारना व देररात होने पर वहां बैठकर बसों का इंतजार करना किसी युद्ध से कम नहीं है।
बोले जिम्मेदार…
एआरएम गिरीश चंद्र वर्मा ने बताया कि जल्द ही बसों के शीशे व जाम खिड़कियों को सही करवाया जाएगा। जिससे यात्रियों को ठंड में परेशानी न होंगी।