WFI प्रमुख पर यौन उत्पीड़न के आरोप के बाद कांग्रेस ने प्रधानमंत्री मोदी पर साधा निशाना
नई दिल्ली। कांग्रेस ने बृहस्पतिवार को भाजपा सांसद और भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन शोषण के आरोपों को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की आलोचना करते हुए पूछा कि क्या सरकार द्वारा खेलों के लिए यही “बेहतर माहौल” बनाया गया है? पहलवान विनेश फोगाट ने बुधवार को आरोप लगाया कि डब्ल्यूएफआई के अध्यक्ष सिंह वर्षों से महिला पहलवानों का यौन शोषण कर रहे हैं। इस आरोप को खेल प्रशासक ने सिरे से खारिज कर दिया।
हिंदी में किए गए एक ट्वीट में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा, “हमारे खिलाड़ी देश की शान हैं। विश्व स्तर पर अपने प्रदर्शन से वे देश का मान बढ़ाते हैं।” उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों ने कुश्ती संघ और उसके अध्यक्ष के खिलाफ उत्पीड़न के गंभीर आरोप लगाए हैं तथा उनकी आवाज सुनी जानी चाहिए।
हमारे खिलाड़ी देश की शान हैं। विश्व स्तर पर अपने प्रदर्शन से वे देश का मान बढ़ाते हैं। कुश्ती फेडरेशन व उसके अध्यक्ष पर खिलाड़ियों ने शोषण के गंभीर आरोप लगाए हैं। इन खिलाड़ियों की आवाज सुनी जानी चाहिए।
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) January 19, 2023
आरोपों की जांच कर उचित कार्रवाई की जानी चाहिए।
कांग्रेस महासचिव व संचार प्रभारी जयराम रमेश ने हिंदी में एक ट्वीट में कहा, “बेटियों पर अत्याचार करने वाले भाजपा नेताओं की फेहरिस्त अंतहीन है। क्या ‘बेटी बचाओ’ बेटियों को भाजपा नेताओं से बचाने की चेतावनी थी ! प्रधानमंत्री जी, जवाब दीजिए।” उन्होंने पूछा, “प्रधानमंत्री जी, बेटियों पर अत्याचार करने वाले सारे भाजपाई ही क्यों होते हैं?”
प्रधानमंत्री जी, बेटियों पर अत्याचार करने वाले सारे भाजपाई ही क्यों होते हैं?
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) January 19, 2023
कल आपने कहा कि देश में खेलों के लिए बेहतर माहौल बना है। क्या यही है ‘बेहतर माहौल’ जिसमें देश का नाम रोशन करने वाली बेटियां भी सुरक्षित नहीं हैं?
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रमेश ने कहा, “कल आपने कहा कि देश में खेलों के लिए बेहतर माहौल बना है। क्या यही है ‘बेहतर माहौल’ जिसमें देश का नाम रोशन करने वाली बेटियां भी सुरक्षित नहीं हैं?” उत्तर प्रदेश में वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से एक खेल कार्यक्रम का उद्घाटन करते हुए मोदी ने बुधवार को कहा था, “कितने ही सामर्थ्यवान युवा, कितनी ही प्रतिभाएं मैदान से दूर रह गयीं। मगर पिछले आठ वर्षों में देश ने इस पुरानी सोच को पीछे छोड़ दिया है। खेलों के लिए एक बेहतर वातावरण बनाने का काम किया गया है इसलिए अब ज्यादा बच्चे और नौजवान खेल को करियर विकल्प के तौर पर देखने लगे हैं।”
विश्व चैंपियनशिप की पदक विजेता और ओलंपियन विनेश फोगाट का तोक्यो ओलंपिक खेलों के बाद से ही डब्ल्यूएफआई से टकराव चल रहा है। फोगाट ने यह भी दावा किया कि लखनऊ में राष्ट्रीय शिविर में कई कोच ने भी महिला पहलवानों का शोषण किया है। उन्होंने आरोप लगाया कि शिविर में कुछ महिलाएं हैं जो डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष के कहने पर पहलवानों से संपर्क करती हैं।
इस 28 साल की पहलवान ने हालांकि स्पष्ट किया कि उन्होंने खुद कभी इस तरह के शोषण का सामना नहीं किया है लेकिन दावा किया कि बुधवार को दिल्ली के जंतर-मंतर पर शुरू हुए ‘धरने’ में “एक पीड़ित” मौजूद थी। इन दोनों के अलावा रियो ओलंपिक पदक विजेता साक्षी मलिक, विश्व चैम्पियनशिप पदक विजेता सरिता मोर, संगीता फोगाट, सत्यव्रत कादियान, जितेंद्र किन्हा और राष्ट्रमंडल खेल पदक विजेता सुमित मलिक ‘जंतर-मंतर’ पर धरने पर बैठे 30 पहलवानों में शामिल हैं । सिंह (66) फरवरी 2019 में लगातार तीसरी बार डब्ल्यूएफआई के निर्विरोध अध्यक्ष निर्वाचित हुए थे।
आरोपों पर संज्ञान लेते हुए खेल मंत्रालय ने डब्ल्यूएफआई से स्पष्टीकरण मांगा है और उसे “लगाए गए आरोपों पर अगले 72 घंटों के भीतर जवाब देने” का निर्देश दिया है। कुश्ती फेडरेशन व उसके अध्यक्ष पर खिलाड़ियों ने शोषण के गंभीर आरोप लगाए हैं। इन खिलाड़ियों की आवाज सुनी जानी चाहिए। आरोपों की जांच कर उचित कार्रवाई की जानी चाहिए।”
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