बदायूं: सील किए गए अस्पताल में फिर से मरीजों का इलाज, ग्रामीणों में हड़कंप
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उझानी, अमृत विचार: कस्बे में तीन दिन पूर्व स्वास्थ्य विभाग की टीम ने नवजात की मौत के बाद निजी अस्पताल को सील कर दिया था। शनिवार को ग्रामीणों ने बताया कि सील अस्पताल में मरीजों को भर्ती कर इलाज किया जा रहा है।
कस्बे में करीब आधा दर्जन से अधिक निजी अस्पताल हैं। इन अस्पतालों में मरीजों को भर्ती कर इलाज किया जाता है। कई अस्पतालों में प्रसव भी कराए जाते है। बीते गुरुवार को एक अस्पताल में सहसवान क्षेत्र के ग्राम सेमरा मूसेपुर कोल्हाई निवासी आस मोहम्मद ने गर्भवती पत्नी को भर्ती कराया था। जहां पर महिला का प्रसव हुआ। आरोप है लापरवाही बरतने पर प्रसव के बाद नवजात बच्ची की मौत हो गई।
नवजात की मौत के बाद हंगामा हो गया। आसमौहम्मद के गांव के कई लोग मौके पर पहुंच गए। मामला बढ़ने पर सीएमओ कार्यालय से पहुंची टीम ने अस्पताल को सील कर दिया, लेकिन शनिवार को फिर से अस्पताल में मरीज भर्ती किए गए। कई गर्भवती महिलाओं को भर्ती किया गया। स्थानीय लोगों ने बताया कि अस्पताल के खिलाफ कार्रवाई होने के बाद दो दिन तक बंद रखा गया, लेकिन शनिवार को फिर से अस्पताल खोल लिया गया।
आरोप है कि अस्पताल में प्रशिक्षित स्टाफ नहीं है। अस्पताल के आसपास रहने वाले लोग प्रसव करते है। इससे इस तरह की घटनाएं होती रहती हैं। उझानी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के चिकित्सा अधीक्षक राजकुमार गंगवार ने बताया कि अस्पताल को सील करने संबंधी उनके पास कोई जानकारी नहीं है। सीएमओ कार्यालय से आयी टीम में कौन कौन शामिल था उन्हें इसकी जानकारी नहीं है।
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