मैनपुरी: शिवपाल यादव बोले- अनुजेश यादव से हमारा रिश्ता खत्म...भाजपा पर भी साधा निशाना, कहा ये...

मैनपुरी: शिवपाल यादव बोले- अनुजेश यादव से हमारा रिश्ता खत्म...भाजपा पर भी साधा निशाना, कहा ये...

मैनपुरी, अमृत विचार। मैनपुरी जिले में करहल विधानसभा क्षेत्र में जारी उपचुनाव के लिए प्रचार तेज होने के बीच समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता शिवपाल यादव ने कहा कि भाजपा प्रत्याशी अनुजेश यादव से रिश्ते खत्म हो गए हैं। इस पर अनुजेश यादव ने तीखी प्रतिक्रिया दी और अखिलेश यादव द्वारा ‘‘अपमानित’’ किए जाने के बाद शिवपाल यादव के समाजवादी पार्टी में वापस शामिल होने पर सवाल उठाया और उन्हें भाजपा में शामिल होने का प्रस्ताव दिया। 

रविवार देर शाम जिले के घिरोर ब्लॉक में एक चुनावी सभा को संबोधित करते हुए शिवपाल यादव ने कहा कि अनुजेश यादव से रिश्ते खत्म हो गए हैं। उन्होंने कहा कि अनुजेश पहले भाजपा का टिकट वापस करें, उसके बाद ही उन्हें सपा में वापस लिया जा सकता है। अनुजेश आजमगढ़ से सपा सांसद धर्मेंद्र यादव के बहनोई हैं। 

अनुजेश की शादी धर्मेंद्र यादव की बहन संध्या यादव से हुई है। अनुजेश को भाजपा ने सपा के तेज प्रताप सिंह यादव के खिलाफ मैदान में उतारा है। शिवपाल ने चुनावी सभा में तेज प्रताप सिंह यादव के लिए वोट मांगे। इस दौरान लोकसभा सदस्य डिंपल यादव और धर्मेंद्र यादव भी मौजूद थे। शिवपाल ने दावा किया कि भाजपा लोगों से वोट नहीं मांग रही है, बल्कि पुलिस और प्रशासन को अपने उम्मीदवार को जिताने के लिए कह रही है। 

वरिष्ठ सपा नेता ने कहा, ‘‘भाजपा कभी कोई काम नहीं करती, लेकिन सुबह टीवी खोलकर देखिए तो आप पाएंगे कि भाजपा गरीबी मिटाने और सबको नौकरी देने का दावा करती है। लेकिन, सच्चाई यह है कि परिवारों को घर चलाने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, क्योंकि (अधिकांश) नौकरियां ठेके पर दी जा रही हैं।’’ 

इस बीच, शिवपाल के बयान पर पलटवार करते हुए भाजपा प्रत्याशी अनुजेश यादव ने सोमवार को कहा, ‘‘अखिलेश यादव ने अपने चाचा (शिवपाल यादव) का अपमान किया था और कहा था कि वह उन्हें (शिवपाल यादव) कभी वापस नहीं लेंगे, फिर वह सपा में क्यों शामिल हुए?’’ अनुजेश ने इस मौके पर शिवपाल यादव को भाजपा में शामिल होने का प्रस्ताव देते हुए कहा, ‘‘भाजपा एक राष्ट्रीय पार्टी है और उन्हें हमारे साथ आ जाना चाहिए।’’ अनुजेश ने कहा कि भाजपा ने उन्हें सम्मान दिया है और वह कभी सपा में वापस नहीं जाएंगे। 

कन्नौज से सांसद चुने जाने पर अखिलेश यादव के इस्तीफे के बाद करहल सीट पर उपचुनाव की जरूरत पड़ी। करहल, अखिलेश यादव के इटावा जिले के पैतृक गांव सैफई से महज चार किलोमीटर दूर है। यह निर्वाचन क्षेत्र डिंपल यादव की मैनपुरी लोकसभा सीट का हिस्सा है। करहल सीट 1993 से ही सपा का गढ़ रही है। 2002 के विधानसभा चुनाव में यह सीट भाजपा के सोबरन सिंह यादव के खाते में गई थी, लेकिन बाद में वह सपा में शामिल हो गए थे। 

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