लखनऊ : दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम ने रद्द किया अडानी का टेंडर

लखनऊ, अमृत विचार। मध्यांचल विद्युत वितरण निगम के बाद अब दक्षिणांचल ने भी मेसर्स अडानी का 7000 करोड़ की लागत वाला टेंडर निरस्त कर दिया है। वहीं पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम ने जीएमआर का 9000 करोड़ की लागत का टेंडर निरस्त कर तीन कलस्टर में नया टेंडर निकाला है जबकि पहले टेंडर एक कलस्टर में था।
राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद की लंबी लड़ाई के बाद सभी बिजली कंपनियों ने तीन से चार क्लस्टर वाले टेंडर निकाले हैं, जिससे मीटर निर्माता कंपनियां टेंडर प्रक्रिया में भाग ले सकें। सबसे पहले मध्यांचल विद्युत वितरण निगम ने मेसर्स अडानी का टेंडर निरस्त किया था। इसके बाद अब दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम ने भी न्यूनतम निविदा दाता 7000 करोड़ वाले अडानी के टेंडर को निरस्त कर दिया है। वहीं पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम ने 9000 करोड़ की न्यूनतम निविदा दाता जीएमआर का टेंडर निरस्त करते हुए तीन कलस्टर में नया टेंडर निकाला है। पर्वांचल के नये टेंडर की लागत मूल्य मात्र 58 लाख है।
अब केवल पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम में 48 फीसदी अधिक दर वाला एक टेंडर बचा है। गौरतलब है कि 25 हजार करोड के स्मार्ट प्री पेड मीटर टेंडर को पूरे प्रदेश में जहां 4 क्लस्टर में विगत दिनों निकाला गया था, जिसमें मैसर्स अडानी, मैसर्स जीएमआर व इन टेली स्मार्ट की न्यूनतम दरें आई थीं। जो लागत मूल्य 6000 रूपये प्रति मीटर से अधिक 9000 और 10000 के बीच यानी 65 फीसदी अधिक थी। जिसपर उपभोक्ता परिषद ने विद्युत नियामक आयोग में याचिका लगा कर विरोध जताया था और आठ कलस्टर में टेंडर निकालने की मांग की थी।
उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने कहा उपभोक्ता परिषद काफी लंबे समय से ऊंची दर वाले टेंडर को निरस्त कराने को लेकर लड़ाई लड़ी जा रही थी, जिसमें उपभोक्ता परिषद की जीत हुई है। अब टेंडर तीन या चार कलस्टर में निकालने की कार्रवाई शुरू हो गई है। इसका लाभ विद्युत उपभोक्ताओं को जरूर मिलेगा।
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