पीलीभीत: सीएचसी बरखेड़ा में मरीजों को राहत न तीमारदारों को..वाटर कूलर खराब..मटके खाली, पानी खरीदकर बुझानी पड़ रही प्यास

पीलीभीत: सीएचसी बरखेड़ा में मरीजों को राहत न तीमारदारों को..वाटर कूलर खराब..मटके खाली, पानी खरीदकर बुझानी पड़ रही प्यास

बरखेड़ा,अमृत विचार। इन दिनों पड़ रही भीषण गर्मी के बीच मरीजों की संख्या बढ़ रही है। गर्मी के बीच प्यास बुझाने के लिए सीएचसी पर पर्याप्त इंतजाम के दावे तो किए जा रहे हैं, लेकिन मरीज और तीमारदार तपती धूप में गर्म पानी पीने को मजबूर हैं। मशीन लगी होने और मिट्टी के मटकों की उपलब्धता होने के बाद भी उनको गला तर करने के लिए बाहर दुकानों से बीस रुपये की पानी की बोतल खरीदना पड़ रही है। जिम्मेदार इसे लेकर बेसुध बने हुए हैं। मरीज और तीमतारदारों का हाल बेहाल है।

कस्बे में स्थित सीएचसी बरखेड़ा पर इलाज कराने लिए दर्जनों गांवों के लोग पहुंचते हैं। एक लाख से अधिक की आबादी सीएचसी पर निर्भर है। वर्तमान में गर्मी का सितम मरीजों की संख्या में इजाफा कर रहा है। प्रतिदिन की ओपीडी 300 या फिर उसके पार पहुंच रही है। मगर व्यवस्थाओं की बात करें तो यहां पर मरीज और तीमारदारों के लिए प्यास बुझाने के भी पर्याप्त इंतजाम नहीं है। वैसे तो यहां पर पानी की मशीन लगी हुई है। इससे पानी आ भी रहा है, लेकिन 40 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंच रहे पारे के बीच मशीन से निकलने वाला पानी पीना संभव नहीं लगता।

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इन टंकियों से गर्म पानी निकल रहा है। लंबे समय से इस मशीन का फ्रीजर ही खराब है। उसका सुधार कराने के लिए भी सुधि नहीं ली गई है। जबकि इमरजेसी में ही 10 से अधिक मरीज पहुंचते हैं। कए माह में प्रसव की संख्या भी 150 या फिर उससे अधिक रहती है। वाटर कूलर में आई दिक्कत चलते मरीज गर्मी के बीच प्यास बुझाने को सादा पानी पीने को मजबूर होते हैं या फिर बाहर की दुकानों पर बिक रही 20 रुपये की बोतल खरीदना पड़ती है। कई बार तो मरीजों के पानी में ही 100 से अधिक रुपये खर्च हो जाते हैं।  

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मटके मंगवाए, मगर पानी नहीं भरवाया
मशीन से ठंडा पानी न निकलने पर लोग परेशान होते हैं।  इसका समाधान करने के नाम पर जिम्मेदारों ने औपचारिकता निभाई। मटके खरीदकर सीएचसी परिसर में रखवा दिए गए हैं। मगर उसमें प्रतिदिन पानी ही नहीं भरा जाता है। जब इन मटकों के अमृत विचार टीम ने फोटो खींचना शुरू किए तो आनन-फानन में कुछ कर्मचारियों को भेजकर उसमें वही गर्म पानी भरवाकर औपचारिकता निभा ली गई।

पानी के लिए इंडिया मार्क नल भी नहीं
कस्बा बरखेड़ा में मुख्य मार्ग के चौड़ीकरण को लेकर पहले ही सड़क पर लगे इंडिया मार्का नल उखड़वा दिए गए थे। जिससे कस्बे में पहुंचने वाले लोगों को पानी के लिए परेशान होना पड़ता है। इसके अलावा सीएचसी परिसर में जिधर मरीज आते हैं, उस तरफ कोई सरकारी नल नहीं है। आवासीय परिसर की तरफ नल लगे हुए हैं। मगर उस तरफ मरीज और तीमारदारों का आना-जाना नहीं हो पाता है। कई बार लोग नल लगवाने की भी मांग कर चुके हैं।

इन दिनों सीएचसी की की ओपीडी 250-300 के आसपास पहुंच रही है। प्रति माह करीब 150 प्रसव हो जाते हैं। व्यवस्थाएं दुरुस्त रखने  पर पूरा ध्यान दिया जाता है। करीब एक सप्ताह से वाटर कूलर खराब है। इस कारण मरीजों एवं तीमारदारों को ठंडा पानी नहीं मिल पा रहा है।  मैकेनिक के लिए बोला गया है जल्द ही मिस्त्री बुलाकर ठीक करा दिया जाएगा। वैकल्पिक व्यवस्था के लिए मिट्टी के मटके भरकर रखवाए जाते हैं- डॉ.लोकेश गंगवार, सीएचसी अधीक्षक बरखेड़ा

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