बाराबंकी: मेमो लिए बिना सैलानी माता मंदिर की जमीन पर चला दी जेसीबी, ग्रामीणों में रोष

राजनीतिक रसूख के दमपर मंदिर के जमीन पर कब्जे का प्रयास

बाराबंकी: मेमो लिए बिना सैलानी माता मंदिर  की जमीन पर चला दी जेसीबी, ग्रामीणों में रोष

सतरिख/बाराबंकी, अमृत विचार। राजनीतिक रसूख के चलते जिले के प्रसिद्ध सैलानी माता मंदिर की जमीन पर जेसीबी चलवा कर चकमार्ग की पटाई कराई जा रही थी। जिसकी वजह से स्थानीय स्तर पर वहाँ के ग्रामीणों में काफी रोष है। पटाई के दौरान पिछले वर्ष वन विभाग द्वारा लगाये गये पेडों को भी जेसीबी से उखाड़ फेका गया। 

यही नहीं वन विभाग द्वारा पेडों को सुरक्षित रखने के लिए लगाये गये टीगार्ड को भी तोड़ दिया गया।और यह सब कुछ नियमों को दरकिनार कर मंदिर की जमीन पर चकमार्ग बनाने के नाम पर जमीन को कब्जा करने के की नीयत से किया गया स्थानीय स्तर पर लोगों के बीच यह चर्चा और आक्रोश की वजह बना।

 पूरा मामला बंकी ब्लाक के डल्लूखेड़ा ग्राम पंचायत में प्रसिद्ध सैलानी माता मंदिर परिसर का है। जहाँ गुरूवार को करीब आधा दर्जन लोग जेसीबी मशीन से चकमार्ग पर पटाई का काम गुपचुप तरीके से करने लगे। पटाई के दौरान कुछ साल पहले वन विभाग द्वारा लगाये गये पेडों को भी इन लोगों ने जेसीबी से उखाड़ फेका और कई टीगार्ड तोड़ दिये।

3
 
इस बात की भनक  साधु संतों और ग्रामीणों को हुई तो लोगों ने इकट्ठा होकर इसका विरोध करना शुरू कर दिया। ग्रामीणों की सूचना पर कुछ ही देर मे सतरिख थाने की पुलिस दल बल के साथ मौके पर पहुँच कर ग्रामीणों के आक्रोश को देखते हुए काम ठप्प करा दिया। हलांकि प्रधान का कहना है कि कि यह काम खेल के मैदान के लिए रास्ता बनाने के लिए चल रहा है।  जबकि प्रशासन ने ग्रामीणों के विरोध और आक्रोश को देखते हुए मामले की जांच कराने की बात कही है। 
 
पूरे मामले को लेकर जब तहसीलदार शरद कुमार सिंह से बात की गई तो उन्होंने बताया सैलानी माता मंदिर परिसर में चकमार्ग पटाई का काम किस जमीन पर हो रही है इसकी जांच  हलका लेखपाल को भेजकर कराई जायेगी।

क्या बोले जिम्मेदार...

क्षेत्रीय वन दरोगा हरिराम यादव का कहना है कि डीएफओ के निर्देश पर  जांच की गई है। मौके पर कई ट्रीगार्ड टूटे मिले हैं। जांच रिपोर्ट अधिकारियों को भेजी जा रही है।
 
खंड विकास अधिकारी जितेंद्र कुमार सिंह का कहना है कि पंचायत में कोई भी काम करने के पहले मेरे द्वारा लेखपाल से स्थल मेमो लिया जाता है। तभी काम को शुरू कराया जा सकता है। चकपटाई का काम कार्ययोजना में शामिल नहीं है। मामले कि जांच कराई जाएगी।

मनरेगा श्रमिकों द्वारा ही काम कराने का है नियम

प्रधान की बात मान भी लिया जाये तो नियमों के मुताबिक ग्राम पंचायत में पटाई का काम जेसीबी से करना नियम विरूद्ध है। मनरेगा श्रमिकों द्वारा ही यह कार्य कराया जाना चाहिए। ऐसे में प्रधान द्वारा जेसीबी से कार्य कराया जाना पूरी तरह से अनुचित और उनकी नीयत पर सवालिया निशान खडा़ कर रहा है।

यह भी पढ़ें:-नोएडा: मुख्यमंत्री योगी का फर्जी वीडियो डालने के आरोपी के खिलाफ रंगदारी मांगने का मामला दर्ज

ताजा समाचार

कैसरगंज की लड़ाई ब्राह्मण बनाम ठाकुर पर आई, अभद्र टिप्पणी पर करन भूषण सिंह ने दी सफाई, जानें पूरा मामला
रामपुर : जिला अस्पताल के टीबी वार्ड की पुरानी इमारत में लगी आग, मची अफरा-तफरी
मुरादाबाद : 22.55 करोड़ से मुरादाबाद में बन रही मंडलीय खाद्य प्रयोगशाला, जल्द हो सकेगी जांच
जलवायु परिवर्तन से मस्तिष्क संबंधी समस्याओं से पीड़ित लोगों पर असर पड़ने की आशंका, शोध में यह बात आई सामने
मुरादाबाद : गेहूं खरीद प्रतिशत में मुरादाबाद प्रदेश में टॉप पर, हमीरपुर दूसरे स्थान पर
लखनऊ: दुष्कर्म के बाद युवती का कराया गर्भपात, वीडियो वायरल करने की धमकी देकर बना रहा था धर्मांतरण दबाव, गिरफ्तार