devotion

कथा श्रवणभक्ति- साधना का मुख्य साधन

साधना के अनेक मार्ग हैं, परंतु जो मार्ग सबसे सरल, सहज और हृदयस्पर्शी है- वह है श्रवण-भक्ति। भक्ति के दो प्रमुख स्तंभ माने गए हैं- भजन और श्रवण। भजन आत्मा का गीत है और श्रवण उस गीत की प्रतिध्वनि। भजन...
विशेष लेख  अंतस 

गढ़मुक्तेश्वर मेला बनेगा श्रद्धा, अनुशासन और स्वच्छता का प्रतीक : CM योगी ने किया मेला स्थल का हवाई सर्वेक्षण

लखनऊ/गढ़मुक्तेश्वर। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को 30 अक्टूबर से पांच नवंबर तक गढ़मुक्तेश्वर में आयोजित होने वाले वार्षिक कार्तिक पूर्णिमा मेले और अमरोहा के तिगरी मेले की तैयारियों का जायजा लिया।  सीएम योगी ने मेला स्थल...
उत्तर प्रदेश  लखनऊ 

Ganesh Chaturthi: हिंदी फिल्मों में भी दिखती है गणेश उत्सव की धूम, शाहरुख़ और ऋतिक के इन गानों में नाराज आया बप्पा का रंग 

मुंबई। ‘गणेश चतुर्थी’ उन चंद त्योहारों में से एक है जिसे हिन्दी फिल्मों में बड़े धूमधाम से दर्शाया जाता रहा है। देश के विभिन्न हिस्सों और खासकर महाराष्ट्र में गणेश चतुर्थी काफी उत्साह और धूमधाम से मनाया जाता है। भगवान...
ग्लैमवर्ल्ड  मनोरंजन 

बाराबंकी: गाजे-बाजे के साथ निकली कृष्ण डोल शोभायात्रा, भक्ति में डूबे श्रद्धालु

रामनगर/बाराबंकी, अमृत विचार। श्रीकृष्ण छठी के पावन अवसर पर कस्बा रामनगर में गाजे बजे के बीच कृष्ण डोल शोभा यात्रा निकाली गई। शुक्रवार को राम जानकी मंदिर पर विधि विधान से पूजन अर्चन करने के बाद पूर्व विधायक शरद अवस्थी...
उत्तर प्रदेश  लखनऊ  अयोध्या  बाराबंकी 

प्रयागराज: श्रद्धा के साथ निकली भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा, मंत्री नन्द गोपाल ने उतारी आरती

प्रयागराज। यूपी के प्रयागराज जिले में भगवान जगन्नाथ मंदिर में कैबिनेट मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता ‘नंदी’ और पूर्व कैबिनेट मंत्री नरेन्द्र सिंह गौड़ ने विधि विधान के साथ  भगवान जगन्नाथ का पूजन कर उनकी आरती उतारी। इसके बाद भक्तों ने...
उत्तर प्रदेश  प्रयागराज 

Sri Krishna Janmashtami 2024: जन्माष्टमी पर श्रीकृष्णभूमि के कण कण में बहता है भक्ति रस, इस दिन सोमचन्द्रिका पोशाक धारण करेंगे ठाकुरजी

मथुरा। श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के पावन पर्व पर श्रीकृष्ण जन्मस्थान का कोना कोना भक्ति रस से सराबोर हो जाता है। श्रीकृष्ण जन्मस्थान सेवा संस्थान ने हर वर्ष की तरह इस बार भी ठाकुर के अभिषेक और श्रंगार की अनूठी व्यवस्था की...
उत्तर प्रदेश  मथुरा  धर्म संस्कृति 

वाराणसी: सावन में काशी में दिखा शिव भक्तों का जमावड़ा, बम बम भोले से गूंजा शिवालय

वाराणसी। काशी बाबा शिव की नगरी हमेशा शिवमय नजर आती है। ऐसे में सावन के खास मौके पर सावन के दूसरे सोमवार के ठीक एक दिन पहले यानी आज रविवार से ही सड़कों पर आस्‍था का जन सैलाब देखने को मिल रहा है। भक्तों की उमड़ी भीड़ का यह अद्भभूत दर्शय कोरोना काल के 2 …
उत्तर प्रदेश  वाराणसी  फोटो गैलरी 

बाराबंकी: गांव,गली, शहर में हुआ भंडारों का आयोजन, आस्था और भक्ति में डूबे श्रद्धालु

अमृत विचार/बाराबंकी। हनुमान जी के पवित्र जेष्ठ माह के तीसरे मंगल पर भोर से लेकर देर शाम तक शहर के मुख्य हनुमान मंदिरों सहित गांवों तक बने विशाल हनुमान मंदिरों में भक्ति रस की त्रिवेणी बहती रही। श्रद्धालुओं ने इस मौके पर बड़े-बड़े भंडारों का आयोजन किया। जिसमें पूड़ी-सब्जी,मीठी-बूंदी सहित तरह-तरह के वे पदार्थों का …
उत्तर प्रदेश  बाराबंकी 

कौन थे भगवान परशुराम ?

हमारी ऐश्वर्यमयी महान संस्कृति में भगवान परशुराम महान धनुर्धर, परशुधर‌, विद्याधर और धरा-धर के रूप में एक चमकते हुए आदर्श विन्दु हैं। पिछले दो दशकों में श्रीपरशुराम और श्रीराम की भक्ति में सामाजिक आयाम भी जुड़‌ गया है। इसके पहले हमारे ये नायक कथावार्ता और राम‌लीला के केंद्र तक सीमित होते थे। इनके अलौकिक चरित्र …
धर्म संस्कृति 

माता-पिता की भक्ति से ही मनुष्य महान बनता है: रसिक महाराज

जरवलरोड/बहराइच। जिले जरवल रोड के अतरौलिया गांव में चल रहे कथा में मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम की बाल लीलाओं व सीता स्वयंवर का वर्णन किया। कथावाचक ने कहा कि माता पिता की सेवा व संत सेवा करके भगवान श्रीराम ने भगवती सीता को प्राप्त किया। भागवत कथा के छठे दिन श्रीधाम वृंदावन से आए पंडित …
उत्तर प्रदेश  बहराइच 

दुनिया का सबसे अनोखा हनुमान धाम, यहां होते हैं बजरंगबली के 21 रूपों के दर्शन

भागदौड़ और व्यस्त जीवनशैली के बीच मन की शांति पाने को हर कोई आतुर रहता है। ऐसे में कोई प्रकृति के नजदीक जाकर तो कोई भगवान के मंदिर में जाकर सुकून की तलाश को पूरा करता है। उत्तराखंड में प्रकृति और आस्था का ऐसा ही संगम है हनुमान धाम। नैनीताल जिले में रामनगर से सटे …
धर्म संस्कृति 

तुलसीदास महाकवि निराला की सांस्कृतिक चेतना का है उज्ज्वलतम इतिहास

तुलसीदास महाकवि निराला की सांस्कृतिक चेतना का उज्ज्वलतम इतिहास है। यह निराला जी का ऐसा जीवित स्मारक है जिसकी तुलना कामायनी से सहज ही की जा सकती है। इसमें राष्ट्रीय भावना , ज्ञान और भक्ति से सम्पन्न कवि का लोक मंगलकारी रूप का मनोहारी चित्रण है । साथ ही प्रकृति स्वरूपा नारी की शक्ति , …
साहित्य