अयोध्या: बार मंत्री के खिलाफ एफआईआर से भड़के अधिवक्ता, लिया ये बड़ा निर्णय

अयोध्या: बार मंत्री के खिलाफ एफआईआर से भड़के अधिवक्ता, लिया ये बड़ा निर्णय

अयोध्या। अपने मंत्री पर आपराधिक मुकदमा दर्ज होने का विरोध जताते हुए सोमवार को बार एसोसिएशन ने आपातकालीन बैठक करके न्यायिक कार्य से विरत रहने का प्रस्ताव पारित कर दिया। साथ ही पांच सदस्यीय संघर्ष कमेटी गठित की है जो अध्यक्ष के नेतृत्व में मंगलवार को जिला जज से इस मामले पर बातचीत करेगी। उसके …

अयोध्या। अपने मंत्री पर आपराधिक मुकदमा दर्ज होने का विरोध जताते हुए सोमवार को बार एसोसिएशन ने आपातकालीन बैठक करके न्यायिक कार्य से विरत रहने का प्रस्ताव पारित कर दिया। साथ ही पांच सदस्यीय संघर्ष कमेटी गठित की है जो अध्यक्ष के नेतृत्व में मंगलवार को जिला जज से इस मामले पर बातचीत करेगी। उसके बाद ही अगली रणनीति पर चर्चा के लिए बुधवार को बैठक बुलाई गई है।

सोमवार को बार एसोसिएशन ने बैठक करते हुए उक्त घोषणाएं की। इस दौरान बार काउंसिल आॅफ उत्तर प्रदेश के सह अध्यक्ष जय नारायण पांडेय व सदस्य अखिलेश अवस्थी ने भरोसा दिलाया कि वे मामले में हर प्रकार का सहयोग प्रदान करेंगे। गौरतलब है कि बीते 8 अक्टूबर को बार एसोसिएशन के मंत्री कृष्ण कुमार वर्मा, अधिवक्ता राजेंद्र कुमार तथा छह अज्ञात अधिवक्ताओं के खिलाफ सिविल जज सीनियर डिवीजन द्वितीय भगवान दास गुप्ता की अदालत पर तैनात कोर्ट मुहर्रिर शालिनी यादव ने एफआईआर दर्ज करवाई थी।

उसमें आरोप था कि अदालत में इनायत नगर थाना क्षेत्र के सबा बानो समेत तीन अभियुक्तों की जमानत अर्जी दी गई थी, जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया था। इसकी शिकायत अधिवक्ता ने बार एसोसिएशन के मंत्री से की तो उन्होंने अधिवक्ता के साथ अदालत में पहुंचकर अभद्रता की। एफआईआर होने की सूचना जैसे ही मिली वैसे ही सोमवार को 11 बजे बार एसोसिएशन की आपातकालीन बैठक बुलाई गई, जिसमें अधिवक्ताओं ने अपने-अपने विचार व्यक्त किए। लगभग साढ़े 3 घंटे तक चली बैठक में अधिवक्ताओं ने अपनी राय रखी और आंदोलन की रूपरेखा बनाई।

बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश के सह अध्यक्ष जय नारायण पांडेय तथा बार काउंसिल के सदस्य अखिलेश अवस्थी ने भी बैठक को संबोधित करते हुए एफआईआर दर्ज होने की निंदा की और मामले में अधिवक्ताओं को हर प्रकार का सहयोग देने का आश्वासन दिया। संघ अध्यक्ष सुशील कुमार चौबे ने मामले में चार पूर्व अध्यक्ष अरविंद कुमार सिंह, कालिका प्रसाद मिश्रा, बब्बन प्रसाद चौबे, रंजीत बहादुर सिंह व एक वरिष्ठ अधिवक्ता अवधेश यादव समेत पांच सदस्यों की संघर्ष समिति का गठन किया और 12 अक्टूबर तक न्यायिक कार्य से विरत रहने की व्यवस्था दी।

संघ अध्यक्ष ने बताया कि प्रकरण पर जिला जज ज्ञान प्रकाश तिवारी से समय लेकर मंगलवार को वार्ता की जाएगी अगली रणनीति के लिए बैठक बुधवार को सुबह 11 बजे बुलाई गई है। उधर अधिवक्ता राजेंद्र कुमार ने भी कोर्ट मुहर्रिर शालिनी यादव समेत अन्य के खिलाफ तहरीर देने को कहा है।