Prayagraj News : श्रीकृष्ण जन्मभूमि-शाही ईदगाह विवाद मामले में केंद्र, राज्य व एएसआई को पक्षकार बनाने की मांग खारिज
प्रयागराज, अमृत विचार : इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मथुरा स्थित श्रीकृष्ण जन्मभूमि-शाही ईदगाह मस्जिद विवाद मामले को लेकर विचाराधीन दीवानी मुकदमों में केंद्र व राज्य सरकार और भारतीय पुरातत्व विभाग को पक्षकार बनाने की अनुमति देने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि वादी सीपीसी की धारा 80 (1) के तहत नोटिस देकर दो माह की अवधि बीत जाने के बाद उन्हें पक्षकार नहीं बना सकता है। उक्त आदेश न्यायमूर्ति राम मनोहर नारायण मिश्रा की एकलपीठ ने अधिवक्ता अनिल कुमार सिंह की ओर से दाखिल अर्जी को खारिज करते हुए पारित किया।
दरअसल अधिवक्ता ने तर्क दिया कि विवादित ढांचे का संरक्षक होने के नाते एएसआई को पक्षकार बनाना जरूरी है और चूंकि सुरक्षा की जिम्मेदारी केंद्र व राज्य सरकार की है, इसलिए उन्हें भी पक्षकार बनाया जाना चाहिए। इसके अलावा भगवान श्रीकृष्ण विराजमान व अन्य मुकदमों की सुनवाई के दौरान अधिवक्ता हरिशंकर जैन ने वाद संख्या एक और 11 में संशोधन अर्जी दाखिल कर उन्हें निस्तारित करने की प्रार्थना की है, साथ ही वादी संख्या चार की ओर से आशुतोष पांडेय ने व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में उपस्थित होकर कहा कि वादी को श्रीकृष्ण जन्मभूमि परिसर के सर्वेक्षण की मांग करने से रोका नहीं जाना चाहिए और वर्तमान में विवादित स्थल की सटीक जानकारी के लिए सर्वेक्षण आवश्यक है।
इसके अतिरिक्त वाद संख्या आठ में सत्यवीर सिंह ने कहा कि इस मुकदमे का संबंध जन्मभूमि से नहीं है। इसे गलत ढंग से स्थानांतरित कर दिया गया है। इसकी सुनवाई जिला अदालत, मथुरा में की जानी चाहिए। इसके अलावा अधिवक्ता महेंद्र प्रताप सिंह, हरेराम त्रिपाठी, नसीरुज्जमा ने भी अपना पक्ष रखा। कोर्ट ने विपक्षी को जवाबी हलफनामा दाखिल करने का समय देते हुए मुकदमों की अगली सुनवाई 16 दिसंबर को सुनिश्चित की है
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