परीक्षा में धांधली, सॉल्वर को लिखित परीक्षा में बैठाया, 3 और दारोगा पर रिपोर्ट दर्ज
2020-21 में दरोगा भर्ती पर हुआ चयन, फिंगर प्रिंट ने खोली पोल
लखनऊ, अमृत विचार: यूपी पुलिस की उपनिरीक्षक सीधी भर्ती 2020-2021 में चयनित होने के लिए सॉल्वर की मदद लेने वाली एक महिला दारोगा और 2 पुरुष दारोगा के खिलाफ 3 मामले हुसैनगंज कोतवाली में दर्ज हुए हैं। चयनित अभ्यर्थियों के फिंगर प्रिंट और ऑनलाइन लिखित परीक्षा के दौरान लिए गए फिंगर प्रिंट में गड़बड़ी पाए जाने के बाद भर्ती बोर्ड के निरीक्षक ने लिखित शिकायत की थी। इससे पहले 4 लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज हुई थी।
निरीक्षक सत्येंद्र कुमार ने बताया कि महिलाओं और पुरुषों के लिए आरक्षी नागरिक पुलिस और पुरुषों के लिए प्लाटून कमांडर, पीएसी एवं अग्निशमन द्वितीय अधिकारी के पदों पर सीधी भर्ती 2020-2021 की ऑनलाइन लिखित परीक्षा आयोजित कराई गई थी। परीक्षा में आगरा निवासी कुमारी ज्योति, गोरखपुर के पीपीगंज निवासी घनश्याम जायसवाल और महाराजगंज निवासी सुधीर कुमार गुप्ता शामिल हुए थे। 23 नवंबर को हुई परीक्षा में ज्योति का परीक्षा केंद्र महर्षि गौतम इंटर कॉलेज अलीगढ़, 2 दिसंबर को हुई परीक्षा में घनश्याम का परीक्षा केंद्र काशी इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी वाराणसी और 30 नवंबर को सुधीर का परीक्षा केंद्र हंस इंस्टीट्यूट वाराणसी था।
चयनित होकर कुमारी ज्योति, घनश्याम जायसवाल और सुधीर कुमार गुप्ता को उपनिरीक्षक नागरिक पुलिस को ट्रेनिंग लिए भेजा गया। उधर रिट दायर होने के बाद हाइकोर्ट के निर्देश पर भर्ती बोर्ड ने 17 अप्रैल 2023 को एक कमेटी का गठन कर जांच कराई। टीम ने ट्रेनिंग कर रहे दारोगा और प्लाटून कमांडर पीएसी के अंगुली और अंगूठे के निशान लिए। जिसका मिलान ऑनलाइन लिखित परीक्षा और शारीरिक दक्षता के दौरान लिए गए फिंगर प्रिंट लेकर 13 अक्टूबर को विधि विज्ञान प्रयोगशाला जांच के लिए भेजे। रिपोर्ट में दोनों फिंगर प्रिंट अलग-अलग शख्स के मिले। इससे यह साफ हो गया कि दरोगा कुमारी मालती, घनश्याम जायसवाल और सुधीर कुमार गुप्ता की ऑनलाइन लिखित परीक्षा में सॉल्वर बैठा था।
जालसाजी सामने आने के बाद जांच टीम ने अपनी रिपोर्ट बोर्ड को दी। इसके बाद बोर्ड के निर्देश पर निरीक्षक सत्येंद्र कुमार ने तीनों के खिलाफ जाली दस्तावेज के आधार पर धोखाधड़ी, यूपी सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम समेत गंभीर धाराओं में रिपोर्ट दर्ज कराई है। इंस्पेक्टर रामकुमार गुप्ता ने बताया कि जांच की जा रही है।
यह भी पढ़ेः एंटी करप्शन टीम का एक्शन, 10 हजार रिश्वत लेते महिला उपनिरीक्षक गिरफ्तार