उत्तर कोरिया ने सीमावर्ती सड़कों के कुछ हिस्सों को किया नष्ट, दक्षिण कोरिया ने की जवाबी गोलीबारी
सियोल। उत्तर कोरिया ने आक्रोश में उठाए कदम के तहत मंगलवार को सड़कों के उस उत्तरी हिस्से को नष्ट कर दिया है जो अब उपयोग में नहीं है और कभी उसे दक्षिण कोरिया से जोड़ता था। उसने यह कदम उस दावे के बाद उठाया है कि दक्षिण कोरिया ने उसकी राजधानी प्योंगयांग पर ड्रोन उड़ाए थे जिसके बाद दोनों प्रतिद्वंद्वी देशों के बीच तनाव और बढ़ गया है। सड़कों को ध्वस्त करना दक्षिण कोरिया की रूढ़िवादी सरकार के खिलाफ उत्तर कोरिया के बढ़ते गुस्से को दिखाता है। उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग उन ने दक्षिण कोरिया के साथ संबंध खत्म करने का आह्वान किया है।
दक्षिण कोरिया के ज्वाइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ ने कहा कि सड़कों को विस्फोट के जरिये नष्ट करने के जवाब में दक्षिण कोरियाई सेना ने भी दक्षिणी सीमा पर गोलीबारी की है। उसने बयान में गोलीबारी पर विस्तृत जानकारी नहीं दी। अभी यह पता नहीं चला है कि क्या उत्तर कोरियाई ने इस गोलीबारी पर कोई जवाबी कार्रवाई की है। दक्षिण कोरियाई सेना ने कहा कि वह अमेरिका के साथ अपनी तैयारी और निगरानी बढ़ा रही है। दक्षिण कोरिया की सेना द्वारा उपलब्ध कराये गए एक वीडियो में पश्चिमी सीमावर्ती शहर केसोंग के समीप एक सड़क पर विस्फोट के कारण निकलता धुआं और उत्तर कोरिया के मलबे को हटाने के लिए ट्रकों तथा मशीनों को जाते हुए दिखाया गया है।
एक अन्य वीडियो में कोरिया की पूर्वी सीमा के समीप एक तटीय सड़क से धुआं उठते हुए दिखायी दे रहा है। उत्तर कोरिया का राजनीतिक संदेश के तौर पर अपनी सरजमीं पर इमारतों को ध्वस्त करने का इतिहास रहा है। उसने 2020 में भी दक्षिण कोरिया द्वारा निर्मित एक संपर्क कार्यालय की इमारत को उड़ा दिया था जो खाली पड़ी थी। उत्तर कोरिया ने दक्षिण कोरिया पर इस महीने तीन बार प्योंगयांग पर दुष्प्रचार वाले पर्चे गिराने के लिए ड्रोन भेजे जाने का आरोप लगाया है और दोबारा ड्रोन भेजने पर बल प्रयोग से इसका जवाब देने की धमकी दी है। दक्षिण कोरिया ने ड्रोन भेजे जाने की पुष्टि करने से इनकार कर दिया लेकिन चेतावनी दी थी कि अगर उसके नागरिकों की सुरक्षा को खतरे में डाला गया तो उत्तर कोरिया को इसका अंजाम भुगतना पड़ेगा।
किम जोंग उन की बहन किम यो जोंग ने मंगलवार को कहा कि उत्तर कोरिया को ऐसे अर्निदिष्ट स्पष्ट सबूत मिले हैं कि कथित तौर पर ड्रोन भेजे जाने के पीछे दक्षिण कोरियाई ‘‘सेना के गुंडों’’ का हाथ है। साल 2000 में अंतर-कोरियाई संबंधों में नरमी के दौरान दोनों देशों ने भारी किलेबंदी वाली अपनी सीमा को दो सड़क मार्गों और दो रेल पटरियों से फिर से जोड़ा था। लेकिन उत्तर कोरिया के परमाणु कार्यक्रम और अन्य मुद्दों को लेकर बाद में उनका संचालन निलंबित कर दिया गया था। पिछले सप्ताह उत्तर कोरिया ने कहा था कि वह दक्षिण कोरिया के साथ अपनी सीमा को स्थायी रूप से अवरुद्ध कर देगा और दक्षिण कोरियाई व अमेरिकी सेनाओं की ‘‘उकसावे वाली कार्रवाई’’ से निपटने के लिए अग्रिम पंक्ति पर रक्षा क्षमताओं का विकास करेगा।
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