हल्द्वानी: जेल प्रशासन से बंदियों के उपचार का रुपया मांगेगा बेस अस्पताल
हल्द्वानी, अमृत विचार। सोबन सिंह जीना बेस अस्पताल वित्तीय संकट से जूझ रहा है। जिस वजह से अस्पताल उन भुगतानों की सूची तैयार कर रहा है, जो उसे लेने हैं। इसमें जेल प्रशासन का नाम भी दर्ज है। अस्पताल ने विगत मार्च माह से बंदियों के उपचार का रुपया नहीं लिया है।
हल्द्वानी उप कारागार में हर रोज औसतन 1000 से 1200 बंदी रहते हैं। इनमें बीमार बंदियों को उपचार के लिए अस्पतालों में भेजना पड़ता है। हल्द्वानी में डॉ. सुशीला तिवारी राजकीय अस्पताल और बेस अस्पताल में बंदियों को उपचार के लिए भेजा जाता है। यहां उपचार नहीं मिलने पर उन्हें हायर सेंटर रेफर किया जाता है।
बेस अस्पताल में आये दिन उप कारागार के किसी न किसी बंदी का उपचार होता है। अस्पताल प्रशासन इन दिनों वित्तीय संकट से जूझ रहा है। ऐसे में अस्पताल प्रबंधन ने तय किया है कि वह जेल प्रशासन से बंदियों के उपचार का रुपया लेगा। पिछले वित्तीय वर्ष के अंत में जेल प्रशासन ने बेस अस्पताल को पूरे बिल का भुगतान कर दिया था, लेकिन उसके बाद से कोई भुगतान नहीं किया।
बेस अस्पताल के पीएमएस डॉ. केके पांडे ने बताया कि बिलों की जांच कराई जा रही है। वहीं जेल अधीक्षक प्रमोद पांडे ने बताया कि अस्पताल की ओर से बिल आने के एक सप्ताह में ही पूरा भुगतान कर दिया जाएगा। मार्च माह के बाद कोई बिल नहीं आया है। उन्होंने बताया कि इस समय उप कारागार के दो बंदियों का उपचार दिल्ली एम्स में चल रहा है।