प्रयागराज : जौहर विश्वविद्यालय में सफाई मशीन बरामदगी मामले में फैसला सुरक्षित

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Published By Vinay Shukla
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अमृत विचार, प्रयागराज । इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सरकारी सफाई मशीनों के गायब होने के मामले में समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और उत्तर प्रदेश के पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान की जमानत याचिका पर सोमवार को सुनवाई करते हुए  फैसला सुरक्षित कर लिया है। मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति समित गोपाल की एकलपीठ के समक्ष हुई।

मालूम हो कि आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला आजम सहित पांच अन्य लोगों के खिलाफ आईपीसी और सार्वजनिक संपत्ति नुकसान (निवारण) अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत 19 सितंबर 2022 को पुलिस स्टेशन कोतवाली, रामपुर में प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी,जिसमें शिकायतकर्ता/सामाजिक कार्यकर्ता वाकर अली खान ने आरोप लगाया था।

सपा शासन काल के दौरान रामपुर में सफाई व्यवस्था हेतु सरकारी पैसे से नगर पालिका में सरकारी सफाई मशीनें खरीदी गईं थीं, लेकिन उन मशीनों को आजम खान और उनके बेटे ने नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष अजहर खान के साथ मिलीभगत करके जौहर विश्वविद्यालय में लगवा लिया। जब नई सरकार में इन मशीनों की खोजबीन हुई तो कुलपति ने विश्वविद्यालय से मशीनें गायब करवा दीं और अन्य आरोपियों के साथ मिलकर उन मशीनों को तुड़वाकर विश्वविद्यालय में ही कहीं दबा दिया।

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