सुलतानपुर: बनमई ग्राम पंचायत सचिव की अग्रिम जमानत अर्जी खारिज

सुलतानपुर: बनमई ग्राम पंचायत सचिव की अग्रिम जमानत अर्जी खारिज

सुलतानपुर, अमृत विचार। ग्राम सभा के विकास कार्यों में लापरवाही वित्तीय अनियमितता, शासनादेश का उल्लंघन, निधियों का दुरुपयोग और अन्य आरोपों से घिरे बनमई के निलम्बित पंचायत सचिव की अग्रिम जमानत कोर्ट ने खारिज कर दी है। इसी मामले में गांव की प्रधान के वित्तीय अधिकार डीएम ने सीज कर दिए थे। 

कूरेभार ब्लाक की बनमई ग्राम सभा की प्रधान बबिता वर्मा, सचिव गौतम पटेल एवम अन्य पर गांव के रवि सिंह ने विकास कार्यों में वित्तीय अनियमितता, पदीय दायित्व एवं कर्तव्य का सुचारू रूप से निर्वहन नहीं करने, शासकीय धनराशि का दुरुपयोग, शासनादेश का उल्लंघन, योजनाओं को प्रभावित करने तथा उच्च अधिकारियों के निर्देशों की अवमानना का आरोप लगाया था। जिसकी जांच उप कृषि निदेशक सुलतानपुर को सौंपी गई थी। 

जांच में आरोप सही पाए जाने पर जिला मजिस्ट्रेट कृत्तिका ज्योत्स्ना ने प्रधान के अधिकार सीज कर दिए थे और पंचायत सचिव को निलम्बित कर दिया था। साथ ही प्रकरण की अंतिम जांच के लिए जिला प्रशिक्षण अधिकारी और जल निगम के अधिशाषी अभियन्ता को नामित किया गया। आरोपी पंचायत सचिव गौतम पटेल को भी बाद में निलम्बित किया गया। जिसने गिरफ्तारी से बचने के लिए कोर्ट में अर्जी लगाई, लेकिन सेशन जज जेपी पांडेय ने उसकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी।

जानलेवा हमले के आरोपी की जमानत खारिज

मुकदमेबाजी की रंजिश में महिला प्रधान को छत से फेंक जानलेवा हमला करने के आरोपित का जमानत प्रार्थनापत्र विशेष न्यायाधीश नीरज कुमार श्रीवास्तव ने गुरुवार को निरस्त कर दिया। घटना धनपतगंज थाने की है। अभियोजन के अनुसार सोती सड़ाव गांव की में अभियोगी प्रभाशंकर पांडेय व आरोपितों के परिवार के बीच आबादी की जमीन को लेकर मुकदमा चल रहा है। 

उसी रंजिश को लेकर बीती 4 मार्च को दिन में करीब तीन बजे विपक्षी चंद्रकांत पांडेय, सूर्यकांत पांडेय, स्नेहलता व पूनम पांडेय कुल्हाड़ी व लाठी डंडा लेकर आ गये व उनकी पत्नी पूनम पांडेय जो की ग्राम प्रधान है, को मारने लगें। उन्हें बचाने वह उसकी मां जानकी व पुत्र अर्पित आया तो उसे भी मारा। जान बचाने के लिए वे सब भाग कर मकान की छत पर गए तो आरोपित वहां भी पहुंच गए और जान से मारने की नियत से पूनम पांडेय को छत से नीचे फेक दिया। वह बेहोश हो गई और नाक मुंह से खून निकलने लगा।

लोग दौड़े तो धमकी देते भाग गए। पूनम को पहले जिला अस्पताल फिर मेडिकल कॉलेज लखनऊ ले जाया गया। जहां कई दिनों तक इलाज चला, जिससे पता चला कि शरीर की कई हड्डिया टूट गई थीं। सूर्यकांत पांडेय की जमानत पर बहस हुई। जज ने घटना को गंभीर मानते हुए प्रार्थनापत्र निरस्त कर दिया।

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