'सारे हिंदुओं का ठेका बीजेपी के पास नहीं...', रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले सपा सांसद एसटी हसन का बयान

Amrit Vichar Network
Published By Bhawna
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मुरादाबाद, अमृत विचार। अयोध्या में 22 जनवरी को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को समाजवादी पार्टी के सांसद एसटी हसन ने राजनीति बताया है। डॉ. एसटी हसन ने कहा कि चारों शंकराचार्य ने प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में आने से इनकार कर दिया है। एसटी हसन ने कहा कि श्रीरामचंद्रजी का इतना बड़ा स्टेटस है। क्या हमें वोट के लिए उनके नाम का इस्तेमाल करना चाहिए? प्राण प्रतिष्ठा किस तरह से हो रही है। क्या सियासी लोग इस तरह के काम करेंगे? हिंदू भाई तय करें कि रामचंद्र जैसी शख्सियत का नाम इस्तेमाल करके उनको सियासत में लाकर क्या यह उनके डेकोरम के खिलाफ नहीं है? क्या रामचंद्र जी की यही टीचिंग थी की मस्जिदों को तोड़ दो लोगों को मार दो, फसाद पैदा कर दो और उसके बाद वहां पर मंदिर बना दो।

सपा सांसद ने कहा है सारे हिंदुओं का ठेका बीजेपी के पास ही नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि अखिलेश यादव भी श्रीरामचंद्रजी को मानने वाले हैं। अखिलेश यादव उनसे (बीजेपी के नेताओं से) बड़े हिंदू हैं लेकिन उसका राजनीतिकरण नहीं करते। उन्होंने रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन से दूरी को लेकर कहा कि हम इसमें क्या कह सकते हैं। शंकराचार्य जो कह रहे हैं, वह तो सबको मालूम ही होगा। अखिलेश यादव 22 जनवरी के बाद परिवार के साथ दर्शन करने अयोध्या जाएंगे।

सपा सांसद ने कहा कि राहुल गांधी पंडित हैं। वह बाद में अयोध्या जा सकते हैं। सारे हिंदुओं का ठेका बीजेपी के पास ही नहीं है। हिंदू धर्म को मानने वाले विपक्ष में भी बहुत हैं। लेकिन, वह राजनीति में इसका सहारा नहीं ले रहे। बल्कि जो मुद्दे हैं उन्हें पर बात कर रहे हैं। 

साथ ही सपा सांसद डॉ. एसटी हसन ने असम के सांसद बदरुद्दीन अजमल के उस बयान का भी समर्थन किया है, जिसमें उन्होंने कहा कि 18 जनवरी से मुसलमान ट्रेनों में सफर ना करें, क्योंकि 22 जनवरी में होने जा रहे राम मंदिर से जुड़े लोग उनके साथ मारपीट कर सकते है। उन्होंने कहा हमारे पास उदाहरण है की दाढ़ी टोपी वाले मुसलमानो को ट्रेनों में टॉर्चर किया गया है।

सपा सांसद ने मथुरा की शाही मस्जिद पर आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर पूछे गए सवाल पर कहा की देखिए, सुप्रीम कोर्ट के फैसले का हम स्वागत करते हैं। हम जानते हैं। इस वक्त देश का क्या माहौल है। लोग जुबान से कुछ कहें न कहें...लेकिन हिंदुस्तान की दो बड़ी आबादियों के बीच में नफरतों की सियासत करके सिंघासन हासिल करना चाहते हैं। सपा सपा सांसद एसटी हसन ने बसपा सुप्रीमो मायावती के लोकसभा चुनाव अकेले लड़ने के ऐलान पर भी बात की। उन्होंने कहा कि वो देश और प्रदेश की बड़ी नेता है हम उन पर क्या टिपणी कर सकते हैं।

सपा सांसद एसटी हसन ने कहा कि कहीं जाते समय एहतियात जरूरी है। क्योंकि बसों और ट्रेनों में कुछ सिरफिरे लोग चलते हैं दाढ़ी वाले मुसलमानों को ट्रेनों में टॉर्चर करते हैं। ये सिर्फ ट्रेनों के अंदर ही नहीं बल्कि बसों में भी करते हैं। इसलिए ऐसा काम न करें, जिससे अपनी बेईज्जती हो। आजकल तो लोग नफरत फैलाकर सिंघासन हासिल करना चाहते हैं।

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