बरेली: पहली बार रोबोटिक सर्जरी से किया टोटल नी रिप्लेसमेंट
बरेली, अमृत विचार। रोबोटिक सर्जरी के जरिये सफल नी रिप्लेसमेंट के साथ एसआरएमएस इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल साइंसेज में दो दिवसीय कैडेवरिक आर्थोप्लास्टी वर्कशॉप का रविवार को समापन हो गया। प्रो अनिल अरोड़ा के निर्देशन में डॉ. अक्षय चंदेल ने टीम के साथ पहली बार रोबोटिक सर्जरी से घुटने का आपरेशन किया। वर्कशाप में इसका लाइव प्रसारण किया गया।
आर्थोपेडिक विभाग के अध्यक्ष और कांफ्रेंस के आर्गनाइजिंग सेक्रेटरी डॉ. संजय गुप्ता ने बताया कि रोबोट के जरिये घुटने का आपरेशन ज्यादा बेहतर होता है। इसमें कट की संभावना काफी कम होती है। इसके जरिये मरीज की जरूरत के मुताबिक आपरेशन किया जा सकता है। इससे ज्वाइंट के ज्यादा चलने की उम्मीद होती है। जिस मरीज की यह सर्जरी की गई है, वह करीब दस वर्ष से चलने में असमर्थ था। उसके घुटने का जोड़ पूरी तरह घिस चुका था। आपरेशन ही उसका एक मात्र इलाज होने के कारण रोबोटिक सर्जरी के जरिये नी रिप्लेसमेंट किया गया, जो सफल रहा।
प्राइमस हॉस्पिटल के डा.सीएस यादव ने कहा कि देश में घुटना और कूल्हों के जोड़ों की ज्यादा समस्या है। लेकिन कम ही शहरों में इसके आपरेशन की सुविधा उपलब्ध है। आईएमए के अध्यक्ष डॉ. विनोद पागरानी ने कहा कि रोबोटिक सर्जरी से नी रिप्लेसमेंट मरीजों के लिए फायदेमंद साबित होगा। उत्तर प्रदेश आर्थोपेडिक एसोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट डॉ. संजीव गर्ग, डॉ. एसके कौशिक, डॉ. अफसर खान, डॉ. ध्रुव गोयल, डॉ.संजय श्रीवास्तव आदि मौजूद रहे।
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