UP Nikay Chunav: कांग्रेस, आप व एआईएमआईएम ने सपा का काटा वोट, वंदना नहीं लड़ना चाहतीं थी चुनाव, जानें- इसकी वजह
UP Nikay Chunav 2023 कानपुर में कांग्रेस, आप व एआईएमआईएम ने सपा का काटा वोट।
UP Nikay Chunav 2023 कानपुर में कांग्रेस, आप व एआईएमआईएम ने सपा का काटा वोट। वंदना बाजपेई मेयर का चुनाव नहीं लड़ना चाहती थी, लेकिन सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उनपर भरोसा जताते हुए टिकट दी।
कानपुर, अमृत विचार। UP Nikay Chunav 2023 वंदना बाजपेई मेयर का चुनाव नहीं लड़ना चाहती थी, लेकिन सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उनपर भरोसा जताते हुए टिकट दी। मेयर प्रत्याशी वंदना मेहनत और लगन से शानदार चुनाव लड़ी। जिस कारण सपा कानपुर में उपविजेता बनी। जबकि इससे पहले सपा तीसरे व चौथे पायदान में रही। यह कहना है आर्य नगर विधायक अमिताभ बाजपेई का।
सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस बार आर्य नगर विधायक अमिताभ बाजपेई की पत्नी वंदना बाजपेई को मेयर प्रत्याशी घोषित किया था, जिसके बाद पार्टी के पदाधिकारी व कार्यकर्ताओं ने उनको जीत दिलाने के लिए काफी मेहनत की। मतगणना की शुरूआत में जीत का अंतर ज्यादा न होने से सपा को जीत की पूरी उम्मीद थी, लेकिन आखिरी के राउंड में यह अंतर काफी अधिक हो गया।
भाजपा प्रत्याशी प्रमिला पांडेय की जीत हुई और वंदना बाजपेई उपविजेता रहीं। रविवार को वंदना बाजपेई के पति व आर्य नगर विधायक अमिताभ बाजपेई ने सोशल मीडिया एकाउंट में एक वीडियो जारी किया। कहा कि मेयर का चुनाव पत्नी वंदना बाजपेई लड़ना नहीं चाहती थीं। राष्ट्रीय अध्यक्ष के निर्देश पर चुनाव लड़ा। जिस दौरान कोई नकारात्मकता नहीं आने दी और पूरी मेहनत व हौसले के साथ चुनाव लड़ा।
नतीजन इस बार सपा ने नया मुकाम हासिल किया, जो इससे पहले कभी हासिल नहीं हुआ था। सपा को 2,62,000 वोट मिला। जबकि पिछली बार 1,23,000 वोट मिला था। सपा को सभी वर्ग व समाज का वोट मिला। कांग्रेस वोट कट साबित हुई। इसके साथ ही आम आदमी पार्टी व एआईएमआईएम पार्टी ने भी सपा का वोट काटने का काम किया।
टिकट बाटवारें से खुश नहीं थे कई कार्यकर्ता
सपा के कई कार्यकर्ता पार्षद टिकट को लेकर खुश नहीं थे। जिन कार्यकर्ताओं को सपा से टिकट नहीं वह दूसरे दल में चले गए। इस वजह से भी सपा को नुकसान हुआ। विधायक ने बताया कि 110 वार्ड के पार्षदों की तैयारी मजबूत नहीं थी। एैन मौके पर टिकट में बदलाव करना हमारे बस में नहीं था। कई वार्डों में पार्टी ने कमजोर प्रत्याशी उतारे। वही, सपा की बजाए अन्य दलों से लड़ने पर जो प्रत्याशी जीते हैं। उन लोगों ने भी सपा का नुकसान किया।
सूची में थे कई मृत लोगों के नाम
विधायक ने बताया कि 15 साल पूरानी मतदाता सूची इस बार जारी की गई। सूची में ऐसे कई लोग शामिल थे, जिनका देहांत तक हो चुका है, फिर भी उनका था। अल्पसंख्यक समेत कई क्षेत्रों में बहुत से लोगों के नाम सूची से कटे हुए थे। वोटिंग मशीन में क्या खेल हुआ, पता नहीं। मतदान कितना हुआ, इसकी जानकारी नहीं दी गई। मतगणना पैटर्न भी नहीं दिया गया। फिलहाल पार्टी के सभी कार्यकर्ताओं व पदाधिकारियों ने काफी मेहनत की।
