टनकपुर: नेपाल की दो महिलाओं को चरस तस्करी में 10 साल की सजा

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Published By Shweta Kalakoti
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दोनों पर एक-एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया, जुर्माना अदा नहीं करने पर अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी 

टनकपुर, अमृत विचार। विशेष सत्र न्यायाधीश की अदालत ने चरस तस्करी के मामले में दो नेपाली महिलाओं को दस-दस साल की सजा सुनाई है। दोनों पर एक-एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। जुर्माना अदा नहीं करने पर छह-छह माह की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी।


दोनों महिलाओं से तीन साल पूर्व 3.90 किलो चरस बरामद की गई थी। जानकारी के अनुसार 13 फरवरी 2020 को बनबसा बैराज पुलिस और एसएसबी की टीम नेपाल सीमा पर गश्त कर रही थी। इसी दौरान सीमा में स्थित भारत स्वागत गेट के समीप दो नेपाली महिलाओं की तलाशी ली गई। तलाशी में माया देवी के पास से 1.90 किलो और लक्ष्मी रोका के पास से दो किलो चरस बरामद की गई।

वार्ड नंबर आठ, जिला रुकुम, नेपाल निवासी दोनों महिलाओं ने बताया कि वे चरस को शिमला पहुंचाने जा रही थी। इसके एवज में उन्हें दस-दस हजार रुपये दिए गए थे। पुलिस ने दोनों महिलाओं के खिलाफ बनबसा थाने में एनडीपीएस के तहत मुकदमा दर्ज किया गया। गुरुवार को विशेष सत्र न्यायाधीश कहकशा खान ने दोनों महिलाओं को दस-दस साल की सजा सुनाई। इसके अलावा एक-एक लाख रुपये जुर्माना लगाया गया। जुर्माना नहीं देने पर छह-छह माह की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी। अभियोजन पक्ष की ओर से डीजीसी विद्याधर जोशी ने पैरवी की।

 

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