अयोध्या: 15 सरकारी चिकित्सालयों पर भारी पड़े निजी अस्पताल, जानिये जिले में क्या है आयुष्मान भारत योजना का हाल

अयोध्या, अमृत विचार। केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत योजना के तहत इलाज को लेकर जिले में निजी अस्पतालों ने सरकारी अस्पतालों को पीछे छोड़ दिया है। इसे लेकर सरकारी अस्पतालों की सुविधाओं और संसाधनों से लैस होने के दावों पर बड़ा सवाल लग गया है। यह हाल तब है जब आयुष्मान भारत योजना केंद्र …
अयोध्या, अमृत विचार। केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत योजना के तहत इलाज को लेकर जिले में निजी अस्पतालों ने सरकारी अस्पतालों को पीछे छोड़ दिया है। इसे लेकर सरकारी अस्पतालों की सुविधाओं और संसाधनों से लैस होने के दावों पर बड़ा सवाल लग गया है। यह हाल तब है जब आयुष्मान भारत योजना केंद्र और प्रदेश सरकार द्वारा मिलकर चलाई जा रही है। जनपद में आयुष्मान भारत योजना के तहत चार वर्षों में 18,937 लाभार्थियों ने निशुल्क स्वास्थ्य लाभ लिया है, जिसमें 14, 953 लाभार्थियों ने योजना के तहत चयनित 18 निजी अस्पतालों में अपना इलाज कराया है, जबकि जिले प्रमुख सरकारी चिकित्सालयों सहित कुल 15 सरकारी अस्पतालों में 3,984 लोगों ने ही भरोसा जताया है। सरकारी चिकित्सालयों में इलाज कराने वालों की संख्या निजी अस्पतालों की अपेक्षा 10,969 अधिक रहा है।
आंकड़ों पर गौर करें तो निजी अस्पतालों और सरकारी अस्पतालों के बीच आए 10,969 के अंतर ने जिले की सरकारी अस्पतालों की हकीकत को सामने ला दिया है। तबादला नीति के बाद से जनपद के सरकारी अस्पतालोें में चिकित्सकों का टोटा हो गया है। जिला अस्पताल में सिटी स्कैन मशीन की मांग कई दिनों से हो रही है। जनप्रतिनिधियों व मंत्रियों से शिकायत के बावजूद आज तक सुध नहीं ली गई। आलम यह है कि दिल व पेट के मरीजों के लिए जिला अस्पताल में कोई भी स्पेशलिस्ट नहीं है। वहीं सरकारी अस्पतालों के जिम्मेदारों का दावा है कि अस्पतालों में संसाधनों की कोई कमी नहीं है, लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं दी जा रही हैं।
अब तक बांटे जा चुके हैं 3 लाख से अधिक आयुष्मान कार्ड
आयुष्मान भारत योजना के तहत जिले में अब तक 2,42,332 परिवारों में 3,26,289 कार्ड बांटे जा चुके हैं। जिले के डिस्ट्रिक प्रोग्राम कोऑर्डिनेटर डॉ. रमेश शर्मा ने बताया कि 23 सितंबर 2018 से शुरू हुई इस महत्वकांक्षी योजना के तहत 2011 की जनगणना के अनुसार चिह्नित किए प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना और मुख्यमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत कुल 1,83,423 परिवारों को जोड़ा जा चुका है। अंत्योदय व श्रमिकों के तहत कुल 58,909 परिवारों को आयुष्मान भारत योजना से आच्छादित किया चुका है। 2018 से शुरू हुई इस योजना के तहत अब तक कुल 52 प्रतिशत लोगों को योजना से आच्छादित किया जा चुका है, जबकि शेष 48 प्रतिशत लोगों योजना से जोड़ने के लिए युद्धस्तर पर अभियान चलाया जा रहा है। योजना के तहत लोगों को जोड़ने के लिए सभी ब्लॉकों में बने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर आरोग्य मित्र कैंप लगाए जा रहे हैं। वहीं सभी ग्राम सभा स्तर जन सेवा केंद्रों के माध्यम से शेष परिवारों को जोड़ने की कवायद चल रही है।
गरीबों के लिए वरदान साबित हो रही योजना
जिले में आयुष्मान भारत योजना के तहत 18,937 लोगों ने स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ उठाया है। आयुष्मान योजना के तहत स्वास्थ्य लाभ लेने वाली अंगूरीबाग जनपद की रहने वाली राजकुमार का कहना है कि सरकार की ओर से शुरू की गई यह योजना बहुत अच्छी है। उन्होंने बताया कि उनको पथरी की समस्या थी, जिसको लेकर वह कई दिनों से परेशान थी, लेकिन आयुष्मान योजना के तहत निशुल्क इलाज हुआ है, अब वह पहले से बेहतर हैं। उन्होंने अपील की है लोग सरकार की इस योजना का लाभ उठाएं।
क्या है आयुष्मान योजना
आयुष्मान भारत योजना को लेकर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. अजय राजा ने बताया कि इस योजना के तहत सरकार लोगों को पांच लाख रुपये तक के इलाज की सुविधा देती है। पूरा इलाज कैशलेस होता है, ताकि गंभीर बीमारियों से लोगों इलाज कराने में पैसे की समस्याओं का सामना न करना पड़े। इस योजना के तहत आयुष्मान कार्ड धारक सरकारी चिकित्सालयों व चिह्नित निजी चिकित्सालयों में निशुल्क स्वास्थ्य लाभ उठा सकते हैं।
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