मिस्र के चर्च हादसे में हुई लोगाें की मौत पर राष्ट्रपति ने व्यक्त की गहरी संवेदना, शॉर्ट सर्किट से लगी थी आग

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काहिरा।  दमकल सेवाओं ने कहा कि आग लगने के कारणों के बारे में फिलहाल साफ-साफ पता नहीं चल पाया है। एक विदेशी समाचार एजेंसी ने हालांकि शॉर्ट सर्किट से आग लगने की आशंका जताई है। एक प्रत्यक्षदर्शी के अनुसार चर्च में बिजली नहीं थी। वहां एक जनरेटर चलाया गया था। बिजली आपूर्ति जब बहाल हुई, …

काहिरा।  दमकल सेवाओं ने कहा कि आग लगने के कारणों के बारे में फिलहाल साफ-साफ पता नहीं चल पाया है। एक विदेशी समाचार एजेंसी ने हालांकि शॉर्ट सर्किट से आग लगने की आशंका जताई है। एक प्रत्यक्षदर्शी के अनुसार चर्च में बिजली नहीं थी। वहां एक जनरेटर चलाया गया था। बिजली आपूर्ति जब बहाल हुई, तो इससे ओवरलोड हो गया। इस बीच चिंगारी निकली और आग लग गई।

अंतरराष्ट्रीय मीडिया में आई खबरों के अनुसार तीसरी और चौथी मंजिल पर लोग एकत्र थे। दूसरी मंजिल से धुआं निकलता देखा गया। एक चश्मदीद ने कहा कि लोग सीढ़ियों से नीचे उतरने के लिए दौड़े और एक-दूसरे के ऊपर गिरने लगे। इस भयावह मंजर के बाद भूतल से अपनी पुत्री को साथ लेकर सुरक्षित भागने में सफल रही एक महिला ने कहा कि एक विस्फोट की आवाज के साथ चिंगारी निकली और आग लग गई।

राष्ट्रपति अब्देल फतह अल-सिसी ने पीड़ितों के परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की है। श्री सिसी ने सशस्त्र बलों को चर्च के पुनर्निर्माण का आदेश दिया है। सूत्रों के अनुसार आग के कारणों की जांच के लिए एक टीम को घटनास्थल पर भेजा है। मिस्र के 10 करोड़ 30 लाख लोगों में से कम से कम एक करोड़ कॉप्टिक ईसाई हैं। कॉप्टिक ईसाइयों का आरोप है, देश में उनके साथ भेदभाव होता है।

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