बीजेपी के समीकरण को तोड़ने के लिए साथ आए सपा-आरएलडी

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नई दिल्ली। यूपी में विधानसभा चुनाव को लेकर हर दिन सरगर्मियां तेज हो रही है। आगामी दिनों में विधानसभा चुनाव की शुरूआत पश्चिमी उत्तर प्रदेश से होगी। वहीं, इससे पहले मुजफ्फरनगर दंगे के चलते बीजेपी के समीकरण ने पिछली वार करीब 90 फीसदी सीटें अपने नाम की थी। मगर इस बार बीजेपी के सियासी समीकरण …

नई दिल्ली। यूपी में विधानसभा चुनाव को लेकर हर दिन सरगर्मियां तेज हो रही है। आगामी दिनों में विधानसभा चुनाव की शुरूआत पश्चिमी उत्तर प्रदेश से होगी। वहीं, इससे पहले मुजफ्फरनगर दंगे के चलते बीजेपी के समीकरण ने पिछली वार करीब 90 फीसदी सीटें अपने नाम की थी। मगर इस बार बीजेपी के सियासी समीकरण को तोड़ने के लिए सपा-आरएलडी साथ आए हैं। ऐसे में अब दोनों का यह सियासी समीकरण किस रुख पर पहुंचेगा फिलहाल अभी इस बारे में कुछ भी कहना मुमकिन नहीं।

दरअसल, पश्चिमी यूपी के मुस्लिम बहुल मुजफ्फरनगर जिले में किसी भी सीट पर सपा-आरएलडी गठबंधन ने कोई मुस्लिम कैंडिडेट न देकर बीजेपी के ध्रुवीकरण के दांव को फेल करने की रणनीति को अपनाया। वहीं, मेरठ जिले की चार सीटों पर मुस्लिम प्रत्याशी उतारने से गठबंधन की सारी कोशिशों पर पानी फिरता नजर आ रहा है। 2013 में मुजफ्फरनगर दंगे के चलते जाट और मुस्लिम के बीच दूरियां पैदा हो गई थी, जिसका सियासी खामियाजा रालोद से लेकर सपा और बसपा को भुगतना पड़ा। मगर बीजेपी को जिले की सभी छह सीटों पर जीत मिली थी।

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