जल्द ही यूपी में महिला होमगार्ड गाड़ी में भरेंगी रफ्तार, 31 दिसंबर तक होगा विशेष प्रशिक्षण
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में जल्द ही महिला होमगार्ड भी सड़क पर गाड़ियां दौड़ातीं नज़र आएंगी। केंद्रिय प्रशिक्षण संस्थान जो पुरानी जेल रोड पर स्थित है वहीं पर विशेषज्ञों द्वारा करीब 150 महिला होमगार्ड को विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा। आने वाली 31 दिसंबर तक प्रशिक्षण कार्यक्रम चलेगा। प्रशिक्षण पूरा होने के पश्चात् महिला होमगार्ड को सर्टिफिकेट …
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में जल्द ही महिला होमगार्ड भी सड़क पर गाड़ियां दौड़ातीं नज़र आएंगी। केंद्रिय प्रशिक्षण संस्थान जो पुरानी जेल रोड पर स्थित है वहीं पर विशेषज्ञों द्वारा करीब 150 महिला होमगार्ड को विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा।
आने वाली 31 दिसंबर तक प्रशिक्षण कार्यक्रम चलेगा। प्रशिक्षण पूरा होने के पश्चात् महिला होमगार्ड को सर्टिफिकेट के साथ ड्राइविंग लाइसेंसे भी दिया जाएगा।प्रशिक्षण के बाद इन महिला होमगार्ड को डायल 112 के अलावा पिंक पुलिस और 1090 की महिला पुलिस अधिकारियों के साथ तैनात किया जाएगा। महिला होमगार्ड उनकी गाड़ियां चलाएंगी। बीते दिनों इस संबंध में शासन के निर्देश पर अपर मुख्य सचिव होमगार्ड अनिल कुमार द्वितीय, डीजी होमगार्ड विजय कुमार, डीआइजी मुख्यालय रणजीत सिंह, डीआइजी केंद्रीय प्रशिक्षण संस्थान विवेक कुमार सिंह की बैठक में पूरी कार्ययोजना तैयार की गई।
पढ़ें- रामपुर: जनता एक्सप्रेस में महिला के पर्स से नकदी समेत एक लाख की चोरी
12 मंडलों में दिया जाएगा महिला होमगार्ड को प्रशिक्षण
पहले फेस में 12 मंडीलय प्रशिक्षण केंद्र की महिलाओं को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसमें मंडलीय प्रशिक्षण केंद्र लखनऊ, कानपुर, झांसी, आगरा, मेरठ, मुरादाबाद, बरेली, अयोध्या, आजमगढ़, वाराणसी, गोरखपुर और प्रयागराज है। प्रदेश भर में महिला होमगार्ड की संख्या करीब चार हजार है। हालांकि स्वीकृत संख्या पांच हजार के आस पास है।
पिंक पुलिस, 1090 समेत अन्य महिला पुलिस विंग में तैनात महिला पुलिस अधिकारियों द्वारा छेड़छाड़, महिला हिंसा से संबंधित मामलों में जब किसी अपराधी की गिरफ्तारी अथवा हिरासत में लिया जाता है। ऐसी स्थिति में पुरुष वाहन चालकों के साथ में होने के कारण उन्हें अपराधी से पूछताछ में दिक्कतें होती हैं। इसलिए महिला पुलिस अधिकारियों और महिला पुलिस विंग के साथ इन होमगार्ड महिला पुलिस चालकों की तैनाती की जाएगी। इसके साथ ही महिला होमगार्ड को और सशक्त बनाने की मंशा शासन की है।
